शिक्षकों की नौकरी जाने के लिए ममता सरकार जिम्मेदार: एसयूसीआई

शिक्षकों की नौकरी जाने के लिए ममता सरकार जिम्मेदार: एसयूसीआई

– सड़क जाम कर किया राज्य सरकार का विरोध, कहा चाय बागान की जमीन हड़पना चाहती है सरकार

अशोक झा, कोलकाता: सुप्रीम कोर्ट द्वारा 26,000 शिक्षकों की नौकरी रद्द करने, अभय के दोषियों को सजा देने और जीवन रक्षक दवाओं की कीमत में वृद्धि सहित कई मांगों को लेकर सिलीगुड़ी में एसयूसीआई द्वारा विरोध प्रदर्शन और सड़क जाम किया गया। सिलीगुड़ी हाशमी चौकने सड़क जाम करने वालो को नाकाबंदी करने वालों को गिरफ्तार कर लिया गया। गिरफ्तारी के समय प्रदर्शनकारियों ने कहा कि राज्य सरकार उत्तर बंगाल के चाय बागान की जमीन को 30 फीसदी लेकर पूंजीपतियों को देना चाहती है। बंगाल सरकार की 2016 एसएससी शिक्षक भर्ती पद्धति को दिल्ली सर्वोच्च न्यायालय ने रद्द कर दिया है। मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति संजय कुमार की पीठ ने कहा कि इस भर्ती प्रक्रिया में बड़े पैमाने पर धांधली हुई है, जिसके कारण इसकी विश्वसनीयता खत्म हो गई है।बता दें कि हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ पश्चिम बंगाल सरकार सुप्रीम कोर्ट पहुंची थी। इसके अलावा भी इस मसले पर 120 से ज्यादा याचिकाएं दाखिल हुई थीं। अप्रैल 2024 में हाई कोर्ट ने अपने फैसले में सभी नौकरियों को रद्द करने के साथ-साथ संबंधित कर्मचारियों से ब्याज सहित पूरा वेतन वसूलने का आदेश दिया था। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने राहत देते हुए स्पष्ट किया है कि जो लोग नौकरी कर रहे थे, उन्हें वेतन वापस करने की आवश्यकता नहीं होगी। सर्वोच्च न्यायालय ने कहा है कि 2016 में हुई पूरी नियुक्ति प्रक्रिया जोड़-तोड़ और धोखे से भरी थी। भर्ती घोटाले में सुप्रीम कोर्ट का सख्त रुख: 2016 में स्टेट स्कूल सर्विस कमीशन (SSC) के माध्यम से हुई भर्ती परीक्षा में 23 लाख से अधिक उम्मीदवारों ने भाग लिया था। इस प्रक्रिया के तहत 25,000 से अधिक भर्तियां की गई थीं, लेकिन बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार के आरोप सामने आए। सुप्रीम कोर्ट ने इसे जोड़-तोड़ और धोखाधड़ी से भरी प्रक्रिया करार देते हुए तीन महीने के भीतर नई भर्ती प्रक्रिया पूरी करने का आदेश दिया है।कोर्ट ने कहा है कि पिछली भर्ती में शामिल उन उम्मीदवारों को, जिन पर कोई आरोप नहीं था, नई प्रक्रिया में कुछ रियायत दी जा सकती है। दिव्यांग उम्मीदवारों के लिए विशेष प्रावधान: सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में मानवीय आधार पर एक दिव्यांग कर्मचारी को नौकरी जारी रखने की अनुमति दी है, जबकि अन्य दिव्यांग उम्मीदवारों को नई भर्ती प्रक्रिया में कुछ रियायत देने का निर्देश दिया है। इसके अलावा, हाई कोर्ट द्वारा पूरे भर्ती घोटाले की सीबीआई जांच को चुनौती दी गई थी, जिस पर सुप्रीम कोर्ट 4 अप्रैल को सुनवाई करेगा।

Back to top button