आरजीकर मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टर के साथ बलात्कार-हत्या को लेकर तोड़फोड़, पहचानने में जुटी पुलिस

 

अशोक झा, कोलकाता: आरजीकर मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टर के साथ बलात्कार-हत्या की घटना ने देशभर के लोगों में आक्रोश पैदा कर दिया है। लोग इस घटना को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन प्रदर्शन के बीच स्थिति तब काफी खराब हो गई जब लोगों ने बैरिकेडिंग तोड़कर अस्पताल में घुसना शुरू कर दिया।बीती रात अस्पताल के बाहर प्रदर्शनकारियों ने बवाल काटा। आरजीकर मेडिकल कॉलेज में बीते शुक्रवार को जूनियर महिला डॉक्टर की हत्या और बलात्कार के मामले में डॉक्टर्स का विरोध प्रर्दशन जारी है। इस बीच बुधवार (14 अगस्त) को देर रात भीड़ के एक जुट ने अस्पताल परिसर में घुसकर आपातकालीन विभाग में तोड़फोड़ मचा दी, पुलिस के बैरिकेड को तोड़ दिया गया।वारदात स्थल अस्पताल के सेमिनार हॉल के पास तोड़-फोड़ किए जाने से वे भड़के हुए हैं, इसलिए वे पुलिस के बैरिकेड तोड़कर जबरन अस्पताल में घुस गए। उन्होंने हिंसक प्रदर्शन करते हुए तोड़-फोड़ की। अस्पताल की प्रॉपर्टी को नुकसान पहुंचाया। डॉक्टरों-मरीजों की गाड़ियों में तोड़-फोड़ की। प्रदर्शनकारी अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में भी घुस गए थे। हालांकि उन्होंने किसी मरीज को नुकसान नहीं पहुंचाया, लेकिन कुर्सियां और टेबल तोड़ दी। पुलिस ने उपद्रवियों को रोकने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़े और लाठीचार्ज किया, लेकिन प्रदर्शनकारियों ने उन पर पथराव किया। वहीं अंदर फंसे डॉक्टरों ने पुलिस से उनकी जान बचाने की गुहार लगाई। आइए जानते हैं कि मामले में अब तक क्या-क्या हो चुका?’रिक्लेम द नाइट’ कैंपेन की शुरुआत: कोलकाता डॉक्टर रेप-मर्डर केस का विरोध कर रहे डॉक्टरों ने ‘रिक्लेम द नाइट’ कैंपेन शुरू किया है। बीती रात 15 अगस्त आजादी दिवस शुरू होने से ठीक 5 मिनट पहले देशभर में इस कैंपेन को चलाने का ऐलान किया है। इसके तहत विरोध प्रदर्शन करके महिलाओं के लिए रात का अपना अधिकार हासिल करने का प्रयास किया जाएगा। बता दें कि साल 2012 में जब दिल्ली में निर्भया कांड हुआ था, उस समय भी रिक्लेम द नाइट प्रदर्शन किया गया था। पीड़िता से रेप नहीं गैंगरेप होने का दावा: बीते दिन ऑल इंडिया गवर्नमेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन के एडिशनल सेक्रेटरी डॉ. सुवर्ण गोस्वामी ने दावा किया कि डॉक्टर के साथ रेप नहीं गैंगरेप हुआ। उसकी पोस्टर्माटम रिपोर्ट में जिस तरह के खुलासे हुए हैं, वे गैंगरेप की ओर इशारा कर रहे हैं। उसके साथ निर्भया जैसी दरिंदगी की गई है। एक नहीं कई बार दुष्कर्म हुआ और उसे इस दौरान बेरहमी से टॉर्चर किया गया। इतनी दरिंदगी किसी एक शख्स का नहीं, कई लोगों द्वारा की गई है।
CBI ने आरोपी संजय रॉय रिमांड पर लिया:कोलकाता रेप-मर्डर केस के आरोपी संजय रॉय को CBI ने रिमांड पर ले लिया है। उससे पूछताछ करके जानने की कोशिश की जाएगी कि क्या उसके साथ वारदात में और लोग भी शामिल थे। CBI के एडिशनल डायरेक्टर के नेतृत्व में 25 सदस्यीय टीम कोलकाता पहुंच गई है। CBI ने भारतीय न्याय संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत आरोपी संजय रॉय के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है। वारदातस्थल पर सीन रिक्रिएट किया जाएगा। 25 सदस्यीस टीम में 5 फोरेंसिक एक्सपर्ट और एम्स दिल्ली के डॉक्टर भी शामिल हैं।
कोलकाता पुलिस का अफवाह फैलाने का दावा: कोलकाता पुलिस आयुक्त विनीत कुमार गोयल ने पुलिस विभाग का पक्ष रखते हुए कहा है कि अफवाहें फैलाई जा रही हैं, कृप्या लोग ऐसा न करें। पूरे मामले की गहन जांच चल रही है। न कोई सबूत मिटा है और न किसी को बचाने छिपाने की कोशिश हो रही है। अफवाहें फैलाकर लोगों में अविश्वास पैदा करके माहौल बिगाड़ने की कोशिश अराजक तत्व कर रहे हैं। 4 दिन में बहुत कुछ पुलिस विभाग ने किया है, लेकिन बदले में जो मिला, वह मनोबल गिरा रहा है।कांग्रेस सांसद राहुल गांधी की प्रतिक्रिया: मामले में सवाल उठ रहे थे कि केंद्रीय नेतृत्व और कांग्रेस नेता चुप क्यों हैं? गतिरोध के बीच बीते दिन कांग्रेस सांसद और नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने एक ट्वीट करके अपनी बात रखी। उन्होंने वारदात के 5 दिन बाद मौन तोड़ते हुए अस्पताल और कोलकाता प्रशासन पर आरोप लगाए। आरोपियों को बचाने, सबूतों को मिटाने की कोशिश करने की बात कही। उन्होंने वारदात में शामिल आरोपियों की पहचान करके उन्हें सख्त से सख्त सजा दिए जाने की मांग की। तृणमूल कांग्रेस के अखिल भारतीय महासचिव और सांसद अभिषेक बनर्जी ने आरजी कर अस्पताल में आधी रात को हुई हिंसक घटना की कड़ी निंदा की है। उन्होंने पुलिस से 24 घंटे के भीतर ‘अपराधियों’ को पकड़ने की मांग की। अभिषेक बनर्जी ने अपने ‘एक्स’ हैंडल पर इस घटना की तीव्र निंदा करते हुए लिखा, आरजी कर में हुई गुंडागर्दी सभी सीमाओं को पार कर गई है। एक जनप्रतिनिधि के रूप में मैंने कोलकाता पुलिस आयुक्त से बात की है और उनसे अनुरोध किया है कि इस घटना में शामिल तत्वों के खिलाफ 24 घंटे के भीतर कार्रवाई की जाए, चाहे उनकी राजनीतिक पृष्ठभूमि कुछ भी हो। प्रदर्शनकारी डॉक्टरों की मांगें न्यायसंगत हैं। सरकार से सुरक्षा की मांग करना न्यूनतम अधिकार है, इसे गंभीरता से लिया जाना चाहिए। पुलिस कमिश्नर की सफाई: घटना की जानकारी मिलते ही कोलकाता पुलिस के आयुक्त विनीत गोयल घटनास्थल पर पहुंचे। स्थिति का जायजा लेने के बाद उन्होंने मीडिया को बताया कि इस घटना में डीसीपी नॉर्थ को भी गंभीर चोटें आई हैं और वे बेहोश हो गए। उन्होंने आंदोलन के दौरान पैदा हुई स्थितियों के लिए मीडिया की गलत रिपोर्टिंग को दोषी ठहराते हुए कहा कि कोलकाता पुलिस इस मामले को लेकर चिंतित है। आयुक्त ने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि कोलकाता पुलिस ने आरजी कर की घटना की जांच के लिए हर संभव प्रयास किया है। मैं जिम्मेदारी से कह सकता हूं कि मेरे सहकर्मी दिन-रात मेहनत कर इस मामले की तह तक पहुंचने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने सबूत जुटाने में कोई कमी नहीं रखी। मुख्य आरोपित को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है। हम परिवार के साथ खड़े हैं और कई तरह की अफवाहों का खंडन करते हैं।

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