उत्तर बंगाल से लौट मनरेगा से वंचित लोगों से मुलाकात करेंगे राज्यपाल

उत्तर बंगाल से लौट मनरेगा से वंचित लोगों से मुलाकात करेंगे राज्यपाल
– मनरेगा और भ्रष्टाचार को लेकर बंगाल में मचा है घमासान
कोलकाता: बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद मनरेगा के काम से वंचित लोगों से मिलेंगे। राज्यपाल आनंद बोस ने कालिम्पोंग में पत्रकारों से बातचीत की। इस दौरान उन्होंने कहा कि मैं वंचितों से बात करूंगा और सीधे उनकी शिकायतें सुनूंगा।साथ ही उन्होंने कहा कि मैं न केवल केंद्र सरकार बल्कि हर उस संबंधित पक्षों से बात करूंगा, जो मनरेगा से जुड़े हैं।
दार्जिलिंग दौरे पर राज्यपाल सीवी आनंद बोस
पश्चिम बंगाल के राज्यपाल उत्तर बंगाल में बाढ़ प्रभावित क्षेत्र के दौरे पर हैं। सूत्रों के मुताबिक राज्यपाल ने मुख्य सचिव एचके द्विवेदी को पत्र लिखा, जिसमें उनसे पूछा गया कि क्या राजभवन के बाहर टीएमसी के धरना प्रदर्शन की अनुमति दी गई थी। बता दें दार्जिलिंग के दौरे पर गए राज्यपाल ने वहां तीन सदस्यीय टीएमसी प्रतिनिधिमंडल से शनिवार को मुलाकात की थी। इस दौरान राज्यपाल ने मनरेगा बकाए का मामला केंद्र के सामने उठाने का आश्वासन दिया। सूत्रों की माने तो राज्यपाल के रविवार शाम तक कोलकाता लौटने की संभावना है। हालांकि, इस बात की कोई पुष्टि नहीं हुई कि वापस लौटने के बाद वह टीएमसी के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी से मिलेंगे या नहीं।।टीएमसी नेता अभिषेक बनर्जी के नेतृत्व में पार्टी कार्यकर्ताओं द्वारा राजभवन के बाहर किए जा रहे अनिश्चितकालीन धरने का आज चौथा दिन है। प्रदर्शन कर रहे टीएमसी कार्यकर्ताओं की मांग है कि राज्यपाल आनंद बोस प्रदर्शन स्थल पर उनसे मुलाकात करें। यदि वे ऐसा नहीं करते हैं तो टीएमसी कार्यकर्ताओं द्वारा आंदोलन जारी रखने की चेतावनी दी गई है। गौरतलब है कि केंद्र सरकार के निर्देशों का राज्य द्वारा अनुपालन न करने के कारण मनरेगा की धारा 27 के मुताबिक पश्चिम बंगाल को धन जारी करना 9 मार्च, 2022 से रोक दिया गया था।
कोई डर नहीं, जीत होगी, ये दरवाजा खुलेगा : अभिषेक बनर्जी
तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी नेजोर से कह सकता हूं कि यह संघर्ष इतिहास के पन्नों पर सुनहरे अक्षरों में लिखा जाएगा, क्योंकि लोगों के अधिकारों के लिए धन इकट्ठा करने की लड़ाई के पहले दिन से ही भगवान के आशीर्वाद से लोगों का समर्थन और प्यार बरस रहा है। हमें समाज के हर वर्ग के लोगों का पूरा समर्थन प्राप्त है।। शांतिपूर्ण धरने के चौथे दिन आज कुर्मी, भूमिज, समाज, पुर्पंचल आदिवासी कुर्मी समाज और पश्चिम बंगाल बाउरी समाज उन्यन समिति के प्रतिनिधि धरना स्थल पर आये और हमारे संघर्ष की भावना को और तेज किया। भाजपा की जमींदारी का पतन निश्चि है।
बातचीत विफल रही तो कानूनी विकल्प अपनाने पर विचार करेगी टीएमसी : मित्रा
पश्चिम बंगाल में वित्त मामलों पर मुख्यमंत्री के प्रधान मुख्य सलाहकार अमित मित्रा ने शनिवार को दावा किया कि महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) के तहत केंद्र पर राज्य का 6,907 करोड़ रुपये बकाया है।उन्होंने कहा कि अगर केंद्र सरकार के साथ इस दिशा में बातचीत विफल रहती है, तो तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) मामले में कानूनी विकल्प अपनाने पर विचार करेगी।अर्थशास्त्री और राज्य के पूर्व वित्त मंत्री मित्रा ने कहा कि मामले में कई गैर-सरकारी संगठनों (एनजीओ) ने अदालत का दरवाजा खटखटाया है और राज्य सरकार इन याचिकाओं पर फैसला आने का इंतजार कर रही है।

संवाददाताओं को कहा ”मनरेगा धन आवंटन के तहत 29 सितंबर 2023 तक केंद्र सरकार पर पश्चिम बंगाल का बकाया 6,907 करोड़ रुपये हो चुका है। अन्य राज्यों का भी बकाया होगा। इससे ज्यादा संघ-विरोधी बात क्या हो सकती है? भारत सरकार राज्यों को उनके वैध बकाये और पश्चिम बंगाल में 2.54 करोड़ कार्ड धारकों को ग्रामीण रोजगार से वंचित कर संघवाद को कैसे कमजोर कर सकती है?”मित्रा ने कहा कि केंद्र सरकार को ब्याज के साथ बकाया राशि का भुगतान करना चाहिए। उन्होंने कहा, ”केंद्र ने जो बकाया राशि अवैध रूप से रोक रखी है, उसे उस पर ब्याज देना होगा। पश्चिम बंगाल के मामले में ब्याज की राशि 200 करोड़ रुपये है।केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा, ”राज्यों को दरकिनार करना और उन्हें उनके बकाये का भुगतान न करना सबसे खराब प्रकार का संघीय ढांचा विरोधी कृत्य है। यह ढर्रा विरोधी दलों के शासन वाले अन्य राज्यों में भी अपनाया जा रहा है। हम केंद्र सरकार के साथ बातचीत के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं। अगर बातचीत विफल रहती है, तो अदालत का रास्ता हमेशा खुला हुआ है। मित्रा ने अधिनियम की धारा-27 को लागू किए बिना 24 दिसंबर 2021 को मनरेगा के तहत बंगाल को धन आवंटित न करने के लिए केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय की आलोचना भी की। उन्होंने कहा कि मंत्रालय द्वारा यह प्रावधान नौ मार्च 2022 को लागू किया गया था। मित्रा ने आरोप लगाया,उन्हें (केंद्र सरकार को) अब कानून की परवाह नहीं है।
अगर आप सही हैं तो डरने की जरुरत नहीं: दिलीप घोष

इस दौरान उन्होंने टीएमसी नेता फिरहाद हकीम और मदन मित्रा के आवास पर चल रही छापेमारी पर भी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि अगर किसी नेक नेता की जांच की जा रही है तो उन्हें डरने की कोई बात नहीं है। जांच चल रही है, डरने की कोई बात नहीं है। अगर आप सही हैं तो आपके साथ कुछ नहीं होगा। अगर आप भ्रष्टाचार में लिप्त हैं तो आपको जेल जाना होगा। उन्होंने कहा कि कुछ समय के लिए इंतजार करें।

TMC नेताओं के ठिकानों पर CBI की रेड
भाजपा नेता दिलीप घोष ने पश्चिम बंगाल सरकार पर जमकर हमला बोला। इस दौरान उन्होंने पश्चिम बंगाल सरकार पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में हर जगह घोटाले के मामले सामने आ रहे हैं, चाहे वह कोयला में हो या फिर शिक्षा विभाग में। दिलीप घोष ने आगे कहा कि देश में जहां भी भ्रष्टाचार होगा, उसकी जांच सीबीआई से कराई जाएगी। देश के कई मंत्री और नेता भ्रष्टाचार के कारण जेल में बंद हैं। बता दें कि सीबीआई ने रविवार को नागरिक निकायों द्वारा की गई भर्ती घोटाले में तृणमूल कांग्रेस (TMC) के दो नेताओं फिरहाद हकीम और मदन मित्रा के आवासों पर छापेमारी की। सीबीआई की रेड कोलकाता, कांचरापाड़ा, बैरकपुर, हलिसहर, दमदम, उत्तरी दम दम, कृष्णानगर, ताकी, कमरहाटी, चेतला, भवानीपुर समेत लगभग 12 स्थानों पर चल रही है। उन्होंने कहा कि आप अगर भष्ट नहीं हो तो जांच से डर कैसा?। @रिपोर्ट अशोक झा

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