नोएडा में बंद हेल्थ बीमा पालिसी चालू कराने के नाम पर अमेरिकन से ठगी करने वाले 24 गिरफ्तार

नोएडा। अमेरिका के नागरिकों की बंद स्वास्थ्य बीमा पालिसी को चालू कराने के नाम पर करोड़ों की ठगी करने वाले 24 आरोपियो को एसटीएफ व बिसरख थाना पुलिस की मदद से गिरफ्तार किया है। आरोपी ग्रेटर नोएडा वेस्ट में बैठकर अमेरिका के नागरिकों को ठगी का शिकार बना रहे थे। ठगी का काल सेंटर ग्रेटर नोएडा वेस्ट स्थित महागुन मायवुड सोसायटी में चल रहा था। आरोपियो के कब्जे से लग्जरी गाड़ियां व कई अन्य सामान बरामद किया गया है। आरोपी पिछले चार साल से ठगी का काल सेंटर संचालित कर रहे थे। दो महीने पहले ही आरोपियो ने गाजियाबाद से ग्रेटर नोएडा वेस्ट में ठिकाना बनाया था।
एडिशनल एसपी एसटीएफ राजकुमार मिश्रा ने बताया कि अमेरिका के रहने वाले समीर ने ईमेल के माध्यम से शिकायत की थी कि उसके पास एक व्यक्ति का फोन आया और उसके बाद उसके साथ ठगी हो गई। उसके बैंक आफ अमेरिका के खाते से करीब पचास लाख से अधिक की रकम होंगकोंग के एचएसबीसी बैंक के खाते में ट्रांसफर कर दी गई। ठगी के लिए दिल्ली-एनसीआर के पते पर पंजीकृत मोबाइल नंबर का प्रयोग किया गया। जांच शुरू हुई तो पता चला कि ठगी अंकुर गुप्ता नाम के युवक ने की है। उसकी लोकेशन ट्रेस करते हुए शनिवार दोपहर ग्रेटर नोएडा वेस्ट स्थित महागुन मायवुड सोसायटी पहुंची। फ्लैट के अंदर देखा तो पुलिस टीम के होश उड़ गए। तीन कमरे के फ्लैट में ठगी का काल सेंटर संचालित किया जा रहा था। मौके से कुल 24 आरोपियो को गिरफ्तार किया गया। सभी अमेरिका के नागरिकों से ठगी करने में शामिल है। सभी के खिलाफ बिसरख कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज की गई है।
डेढ़ हजार से अधिक विदेशी नागरिकों से कर चुके है ठगी
पूछताछ के दौरान पता चला है कि गिरोह का सरगना अंकुर गुप्ता है। आरोपी चार साल में डेढ़ हजार से अधिक विदेशी नागरिकों से ठगी की घटना को अंजाम दे चुके है। पकड़े गए आरोपियो की पहचान अंकुर गुप्ता सरगना, तरूण, हिमांशु, आशीष झा, शुभम, संजय कुमार, अंकुश, विक्रांत कुमार, अतुल कौशिक, चेतन, वरूण सूद, सौरभ, नीरज तोमर, शेखर पांडेय, अर्जुनपाल, विजय शर्मा, कृषानू कोले, अजय कुमार, गौरव जैन, रवि, शुभम सिंह, सुरेश, मंजर इमाम, सुमित सिंह के रूप में हुई है। सभी आरोपित दिल्ली, गाजियाबाद व हापुड़ के रहने वाले है।
ऐसे आरोपियो तक पहुंचती थी रकम
आरोपी अंकुर गुप्ता की डार्क वैब व टेलीग्राम चैनल के माध्यम से काल जनरेटिंग हैकर्स के संपर्क में आया। जिनके पास अमेरिकी नागरिकों का डाटा रहता है। इस डाटा के माध्यम से एसएमएस ब्लास्टिंग, ईमेल ब्लास्टिंग से विदेशी नागरिकों के मोबाइल व उनकी मेल पर अटैक किया जाता था। विदेशी नागरिकों को संदेश भेजा जाता व काल की जाती थी। ठगी करने के बाद रकम पेमेंट मोड बिट क्वाइन, जेले गिफ्ट कार्ड, कैश एप के जरिये होंगकोंड के बैंक खाते में ट्रांसफर की जाती थी। इसके बदले अंकुर क्रिप्टो करेंसी के माध्यम से उन लोगों को पेमेंट करता था। इसके बाद अगले के माध्यम से रकम भारतीय खातों में अंकुर व तरूण के खातों में पहुंचती थी। अगले को आरोपी भी नहीं जानते। उनकी बाते डार्क वेब पर होती थी।

यह हुआ बरामद
एमजी हेक्टर कार, मर्सिडीज कार, टस्कन कार, बलेनो, ब्रेजा, स्कोडा, स्विफ्ट डिजायर, 23 लैपटाप, 36 मोबाइल, छह प्रिंटर, होंगकोंड के 770 डालर, सिंगापुर के 318 डालर, थाईलैंट के 6170 बाट, 1445 दुबई थिरम

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