सिक्किम समेत पर्वतीय क्षेत्रों में बारिश भूस्खलन से भारी तबाही

गर्मी से मिली राहत , अब जान पर आफत, यातायात प्रभावित


अशोक झा, सिलीगुड़ी: दक्षिण पश्चिम मानसून हिमालयी राज्यों से लेकर पूरब और पश्चिम और पूर्वोत्तर भारत में जमकर बरस रहा है। कल रात से सिक्किम के कई इलाके में बर्फबारी हो रही है।
सिक्किम में मूसलाधार बारिश हो रही है। इसके चलते जगह-जगह भूस्खलन होने से हिमाचल में राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 10 सड़कों पर वाहनों की आवाजाही रुक गई है।शाम करीब साढ़े चार बजे दारामदीन निर्वाचन क्षेत्र के लुंगचोक इलाके में भूस्खलन हुआ, जिसके परिणामस्वरूप 17 घर विस्थापित हो गए। सौभाग्य से, कोई हताहत नहीं हुआ। निम्नलिखित गृहस्वामी प्रभावित हुए जिसमे बीनू हैंग सुब्बा, रेनू हैंग सुब्बा, हिंगमांग सुब्बा, रोशन सुब्बा, लक्सु मन सुब्बा, लीला धोज सुब्बा, दल बद्र सुब्बा, जगत बद्र सुब्बा, राम क्र. सुब्बा, रतन सिंह लेप्चा, योवा राज शर्मा, पूर्ण पी.डी. शर्मा, इन्द्र मणि ढुंगेल, यज्ञ पद. ढुंगेल के अतिरिक्त, पांच परिवारों को आश्रय के लिए अस्थायी रूप से वीएलडब्ल्यू कार्यालयों में स्थानांतरित कर दिया गया है। अधिकारी क्षति का आकलन कर रहे हैं और प्रभावित निवासियों के लिए राहत प्रयासों का समन्वय कर रहे हैं। सिक्किम में पुरा रंग-रंग पुल टूट गया है और इससे राज्य के उत्तरी हिस्से से शेष भाग का संपर्क खत्म हो गया है। मौसम विभाग का कहना है कि अभी दो दिन इन राज्यों में भारी से बहुत भारी वर्षा जारी रहने का अनुमान है।सिक्किम और बंगाल में पिछले तीन दिन से जारी भारी बारिश के कारण कई इलाकों में भूस्खलन हुआ और राज्य के उत्तरी हिस्से का प्रवेशद्वार माने जाने वाले पुराने ‘रंग-रंग’ पुल को भी काफी नुकसान पहुंचा है। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। अधिकारियों ने बताया कि पुल के क्षतिग्रस्त हो जाने के कारण मंगन जिला मुख्यालय का संपर्क राज्य के बाकी हिस्सों से कट गया है। संखलांग पुल के पिछले साल क्षतिग्रस्त होने के कारण जोंगू से होकर जाने वाला वैकल्पिक मार्ग भी अवरुद्ध हो गया था। जिला प्रशासन सड़क संपर्क जल्द से जल्द बहाल करने के लिए काम कर रहा है और बारिश के कारण हुए नुकसान का आकलन कर रहा है।इस बीच, भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने सिक्किम में अगले दो दिन के लिए ‘रेड अलर्ट’ जारी कर भारी से बहुत भारी बारिश होने की संभावना जताई गई है। मौसम विभाग देश में मौसम संबंधी अलर्ट जारी करने के लिए चार रंगों का उपयोग करता है। ये रंग और इनके संदेश…. ग्रीन (किसी कार्रवाई की जरूरत नहीं), येलो (नजर रखें और निगरानी करते रहें), ऑरेंज (तैयार रहें) और रेड (कार्रवाई/सहायता की जरूरत) हैं। सोरेंग जिले के दरमदीन निर्वाचन क्षेत्र के कई गांवों में भूस्खलन की घटनाएं हुई हैं, जिससे घरों और मवेशियों को नुकसान हुआ है। जिला प्रशासन नुकसान का आकलन कर रहा है तथा राहत-बचाव अभियान जारी है।इसके अलावा नेशनल हाइड्रोइलेक्ट्रिक पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (एनएचपीसी) के ऊर्जा संयंत्र के बांध (तीस्ता निम्न बांध III और IV) के दरवाजे खोल दिए गए हैं ताकि जलाशय में जल का सुरक्षित स्तर बनाए रखा जा सके। अधिकारियों ने बताया कि एनएचपीसी ने तीस्ता नदी के किनारे रहने वाले लोगों को सतर्क करते हुए सलाह दी कि संभावित बाढ़ के खतरे के मद्देनजर वे राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 10 के साथ-साथ लगे, नदी के तटीय हिस्से पर जाने से बचे।अधिकारियों ने बताया कि विभिन्न स्थानों पर भूस्खलन होने के कारण राष्ट्रीय राजमार्ग 10 पर यातायात बाधित हो गया है। पर्यटकों को लावा और कलिम्पोंग के रास्ते वैकल्पिक मार्ग से जाने की सलाह दी गई है। इस बीच, सत्तारूढ़ सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा (एसकेएम) ने लोगों से अपील की है कि वे राज्य में लगातार तीन दिन से हो रही बारिश के मद्देनजर अनावश्यक यात्रा से बचें।।एसकेएम के प्रवक्ता बिकास बासनेत ने कहा, ” हम सभी नागरिकों को, जबतक आवश्यक न हो, अनावश्यक यात्रा करने से बचने की सलाह देते हैं। उनसे सुरक्षित और सतर्क रहने की अपील करते हैं।” बासनेत ने कहा कि मुख्यमंत्री प्रेम सिंह तमांग हालात पर करीब से नजर रखे हुए हैं और अधिकारियों के नियमित संपर्क में हैं।

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