लाखों लिये डकार,विकास कार्यों के नाम पर जमकर भ्रष्टाचार

कुआँ, नाली ,सड़क ,स्ट्रीट लाइट सब बदहाल

 

गोण्डा। जिले के आदर्श व आईएसओ प्रमाणित ग्रामपंचायत वजीरगंज के विकास कार्यों में जमकर भ्रष्टाचार का मामला सामने आया है। जिसमें वित्तीय वर्ष 2024-25 में लाखों खर्च होने के बावजूद निर्माण,मरम्मत आदि कार्य भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गये।प्रधान ने सचिव व कंसल्टिंग इंजीनियर से मिलीभगत कर लाखों रुपए डकार लिया। ये कोई और नहीं ग्राम पंचायत में लगाये गये घटिया क्वालिटी के सोलर लाइट,इंटरलाकिंग,कुएं की मरम्मत,यू टाइप नालियाँ, हाॅट कुक के लिये बर्तन, आधा-अधूरा कार्य पूरा कराना, हैंडपम्प रिबोर, सेल्फी-प्वाइंट की बदहाल स्थित बयाँ कर रही है। इसी के साथ यह कह रही है कि इन सभी कार्यों में जमकर भ्रष्टाचार व अनियमितता हुई है। बता दें कि जब इसकी पड़ताल हुई तो महज कुछ महीने पहले लगभग 7 लाख 69 हजार 1 सौ 86 रुपये की लागत से बनी तीन इंटरलाकिंग जगह-जगह से धंसी दिखाई दे रही है,इसी के साथ इसी सत्र में लगभग 2 लाख 93 हजार 012 रुपये लगाकर विभिन्न स्थानों पर लगाई गई स्ट्रीट लाइट में भी जमकर अनियमितता हुई जो लगने के कुछ ही दिन बाद अधिकतर लाइटें खराब हो गईं। पंचायत भवन के बाहर लगभग 3 लाख 25 हजार 9 सौ 44 रुपए की लागत से बनाये गये सेल्फी-प्वाइंट में भी जमकर अनियमितता हुई है,वह भी उद्घाटन के बाद बदहाल है। इस पर लोगों का कहना है कि बुनियादी विकास के बजाय सरकारी पैसा ऐसी जगह लगाया है जिसका कोई इस्तेमाल माल नहीं है,हाँ जहरीले जीवों व नशेड़ियों का बसेरा जरूर बन गया है। इसी के साथ कुओं की मरम्मत, यू टाइप नाली,आँगनवाड़ी रसोई के लिये बर्तनों की खरीद ,हैंडपम्प रिबोर समेत अधूरा कार्यों को पूरा कराने के नाम पर सरकारी धन का बंदरबाँट किया गया है।जिसकी गंभीरता से जाँच की जरूरत है। लोगों की मानें तो रसूखदार प्रधान जिले के बड़े जिम्मेदारों को खुश रखता है इसलिये यहाँ कराये जा रहे विकास कार्यों की जाँच नहीं हो पाती। हालांकि,जिले में तेज-तर्रार कही जाने वाली डीएम व नवागत सीडीओ की नजर शायद यहाँ हो रहे भ्रष्टाचार पर नहीं पड़ी,जब पड़ेगी तो बड़ी कार्यवाही हो सकती है।

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