बांग्लादेश में एक बार फिर हिंसा, 40 से ज्यादा लोग घायल
बांग्लादेश बॉर्डर से अशोक झा: शेख हसीना के जाने के बाद लगा था कि बांग्लादेश में हालात शायद कुछ सुधर जाएं, लेकिन रविवार रात वहां फिर हिंंसा भड़क उठी। राजधानी में सचिवालय के पास जमा छात्रों और अंसार सदस्यों के बीच जमकर बवाल हुआ, जिसमें 40 से ज्यादा लोग जख्मी हो गए। बांग्लादेश की राजधानी ढाका में रविवार रात सचिवालय के पास छात्रों और अंसार सदस्यों के बीच झड़पें हुईं, जिसमें दोनों पक्षों के लगभग 40 लोग घायल हो गए। झड़पें रात 9 बजे के बाद हुईं, जिसमें दोनों पक्षों ने पीछा करने का सिलसिला शुरू कर दिया।।देर रात तक पुलिस हालात को काबू में करने की कोशिश कर रही थी। इससे पहले ढाका यूनिवर्सिटी के हॉस्टलों से निकलकर स्टूडेंट्स सेक्रेटरेट के सामने आ गए। देखते ही देखते राजू स्मारक के पास हजारों छात्रों का जमावड़ा हो गया। तभी उन्होंने अंसार ग्रुप के सदस्यों से मुलाबला करने के लिए मार्च करने का ऐलान कर दिया। जैसे ही वे आगे बढ़े पुलिस के साथ उनकी तीखी झड़प हुई। रिपोर्ट के मुताबिक, छात्रों का यह गुस्सा तब सामने आया, जब उन्हें पता चला कि अंसार ग्रुप के सदस्यों ने अंतरिम सरकार में सलाहकार और स्टूडेंट्स अगेंस्ट डिस्क्रिमिनेशन आंदोलन के समन्वयक नाहिद इस्लाम, समन्वयकों सरजिस आलम, हसनत अब्दुल्ला और अन्य को सचिवालय में नजरबंद रखा है ।इससे छात्र भड़क उठे। हसनत अब्दुल्ला ने फेसबुक पर एक पोस्ट लिखा। नजरबंदी के लिए उन्होंने अंसार के पूर्व महानिदेशक मेजर जनरल एके एम अमीनुल हक को जिम्मेदार बता दिया। उन्होंने ही छात्रों से ढाका यूनिवर्सिटी में जमा होने को कहा।
फेसबुक पर पोस्ट से फैली हिंसा: हसनत अब्दुल्ला ने लिखा, सब लोग राजू स्मारक के पास आ जाओ. तानाशाह ताकतें अंसार फोर्स के जरिए वापसी की कोशिश कर रही हैं। उनकी मांगें पूरी होने के बाद भी उन्होंने हमें सचिवालय में बंद रखा है। यह सब शरियतपुर के पूर्व सांसद इनामुल हक शमीम की देखरेख में हो रहा है। उनके बड़े भाई अंसार के डीजी थे और इन अंसार सदस्यों की भर्ती उनके भाई ने ही की थी। इसके बाद गुस्सा फूट पड़ा और छात्रों ने बवाल काट दिया। क्यों हुआ बवाल: बता दें कि एकेएम अमीनुल हक शेख हसीना की सरकार में जल संसाधन उप मंत्री रहे एके एम इनामुल हक शमीम के बड़े भाई हैं। छात्रों का कहना है कि वे अन्य छात्र गुटों की मदद से बवाल को भड़काना चाहते हैं। इसलिए बीते कई दिनों से अंसार समूह के लोग प्रदर्शन कर रहे हैं। अंसार ग्रुप के इन सदस्यों को अंतरिम सरकार के गृह मामलों के सलाहकार रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल जहांगीर आलम चौधरी ने आश्वासन दिया। दोपहर लगभग 3 बजे उन्होंने कहा कि अंसार सदस्यों की सभी मांगें पूरी कर दी जाएंगी। इसके बाद आंदोलन के समन्वयक नासिर मिया ने विरोध प्रदर्शन वापस ले लिया। लेकिन वे फिर धरने पर आ गए। इनकी मांग है कि इनकी नौकरियों को स्थायी किया जाए।