मानव तस्करी को लेकर राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की बड़ी कार्रवाई, 10 राज्यों में 44 लोगों को किया गिरफ्तार

मानव तस्करी को लेकर राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की बड़ी कार्रवाई, 10 राज्यों में 44 लोगों को किया गिरफ्तार
नई दिल्ली: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की तरफ से अंतरराष्ट्रीय मानव तस्कर गिरोह को बेनकाब किए जाने के बाद देश के गृह मंत्री अमित शाह ने इस कार्रवाई की सराहना की है। उन्होंने कहा कि यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अपराध पर जीरो टोलरेंस नीति का नतीजा है। NIA के जांच एजेंसी और असम पुलिस ने एक संयुक्त अभियान में कथित तौर पर रोहिंग्याओं को अवैध रूप से भारत में प्रवेश करवाने के आरोप में 47 दलालों को गिरफ्तार किया है। बता दें कि NIA द्वारा ऑपरेशन में अब तक कुल 47 दलालों और बिचौलियों को गिरफ्तार किया गया है। वहीं इस मामले में जिन्हें गिरफ्तार किया गया है उनमें से 25 त्रिपुरा से, 5 असम से, 3 पश्चिम बंगाल से, 9 कर्नाटक से, 1-1 हरियाणा और तेलंगाना से और 3 तमिलनाडु से हैं। उत्तर बंगाल के फांसीदेवा थाना पुलिस ने अवैध रूप से बांग्लादेशी लोगों को शरण देने के आरोप में एक युवक को गिरफ्तार किया है। उससे पूछताछ में पुलिस को सनसनीखेज जानकारी मिली। उसके बाद फांसीदेवा थाना पुलिस ने सिलीगुड़ी महाकमा परिषद के नीरखिंगाच इलाके से मोहम्मद सत्तार अली नाम के युवक को गिरफ्तार किया। आज आरोपी को सिलीगुड़ी महकमा अदालत भेज दिया गया।।पुलिस ने कहा कि पूछताछ के दौरान पता चला कि रोहिंग्याओं को दलालों-बिचौलियों द्वारा भारत में प्रवेश अवैध रूप से प्रवेश कराने का हाथ रहा है। जो घुसपैठ में प्रमुख भूमिका निभा रहे थे। साथ ही जांच के दौरान यह भी पता चला है कि बिचौलिये न केवल भारत-बांग्लादेश सीमा के दोनों ओर बल्कि मुख्य भूमि पर भी मौजूद हैं। यही कारण है कि पुलिस ने बिचौलियों के नेटवर्क को जड़ से खत्म करने के लिए एक अभियान शुरू किया। बता दें कि इसी अभियान में असम स्पेशल टास्क फोर्स ने जुलाई 2023 में ऑपरेशन शुरू कर के 10 ऐसे दलालों या बिचौलियों को गिरफ्तार किया।।उनके सुरक्षित भारत दृष्टिकोण को आगे बढ़ाते हुए एजेंसी ने देश के 10 राज्यों में एक स्पेशल कैंपेन चलाकर मानव तस्करी में लिप्त 44 लोगों को गिरफ्तार किया है। इसके पूरी टीम को बधाई।55 जगह की गहन छानबीन के बाद NIA ने 44 को पकड़ा।बता दें कि भारत-बांग्लादेश सीमा पर घुसपैठ रोकने और देश में ह्यूमैन ट्रैफिकिंग नेटवर्क को खत्म करने के उद्देश्य से राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) बुधवार को 10 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में सीमा सुरक्षा बल (BSF) और विभिन्न राज्यों की पुलिस के साथ मिलकर एक खास तलाशी अभियान चला। इस अभियान के तहत कुल 55 जगह की गहन छानबीन के बाद संयुक्त टीम ने त्रिपुरा से 21, कर्नाटक से 10, असम से 5, पश्चिमी बंगाल से 3 और तमिलनाडु से 2 लोगों को गिरफ्तार किया है, जो मानव तस्करी में लिप्त थे। इनके अलावा पुद्दुचेरि, तेलंगाना और हरियाणा में भी ऐसा एक-एक- आरोपी गिरफ्तार किया गया है।
पहले असम पुलिस ने एक तो फिर NIA ने किए थे 3 केस दर्ज
जहां तक कार्रवाई के मूल की बात है, 9 सितंबर 2023 को असम पुलिस के विशेष कार्य बल (STF) द्वारा मानव तस्करी का एक मामला दर्ज किया गया था। ये मामला भारत-बांग्लादेश सीमा के पार अवैध प्रवासियों की घुसपैठ और पुनर्वास के लिए जिम्मेदार मानव तस्करी नेटवर्क से संबंधित था। इन घुसपैठियों में रोहिंग्या मूल के लोग भी शामिल हैं। इस नेटवर्क का जाल देश के विभिन्न हिस्सों तक फैला हुआ है, जिसमें भारत-बांग्लादेश अंतरराष्ट्रीय सीमा से लगे क्षेत्र भी शामिल हैं। मामले की जटिलता को समझते हुए 6 अक्टूबर को औपचारिक NIA ने गुवाहाटी में जांच शुरू की थी। एनआईए की जांच से पता चला कि इस अवैध मानव तस्करी नेटवर्क के विभिन्न मॉड्यूल तमिलनाडु, कर्नाटक, राजस्थान, हरियाणा और जम्मू-कश्मीर सहित विभिन्न राज्यों में फैले हुए थे और वहां से संचालित हो रहे थे। इसके बाद चेन्नई, बैंगलोर और जयपुर के NIA ब्रांचों में भी तीन और केस दर्ज किए गए।मिले डिजिटल डिवाइस और विदेशी करंसी।बुधवार को देशभर में एक साथ कार्रवाई कर एजेंसी ने 44 लोगों को गिरफ्तार करके इनसे मोबाइल फोन, सिम कार्ड और पैन ड्राइव जैसे डिजिटल डिवाइस, 4550 यूएस डॉलर और 20 लाख रुपए से ज्यादा की भारतीय करंसी बरामद की है। इसके बाद गुरुवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इस कार्रवाई की तारीफ की है। उन्होंने कहा कि अवैध रूप से भारत में रह रहे लोगों पर मोदी सरकार बिल्कुल भी नरमी नहीं बरतेगी। प्रधानमंत्री मोदी की सुरक्षित भारत की परिकल्पना को आगे बढ़ाते हुए एनआई ने पांच अंतरराष्ट्रीय मानव तस्कर गिरोह का भंडाफोड़ किया है। रिपोर्ट अशोक झा

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