अयोध्या में दुनियाभर से रिकॉर्डतोड़ श्रद्धालु पहुँचे, विश्व की आध्यात्मिक राजधानी बनी राम नगरी

मक्का मदीना को भी छोड़ा पीछे; दो महीने में एक करोड़ से ज्यादा लोगो ने लिया रामलला का आशीर्वाद

अयोध्या में दुनियाभर से रिकॉर्डतोड़ श्रद्धालु पहुँचे, विश्व की आध्यात्मिक राजधानी बनी राम नगरी

मक्का मदीना को भी छोड़ा पीछे; दो महीने में एक करोड़ से ज्यादा लोगो ने लिया रामलला का आशीर्वाद

*वर्तमान में एक से डेढ़ लाख श्रद्धालु प्रतिदिन रामलला का दर्शन कर रहे हैं*

*अयोध्या में राम भक्तों की आमद इस कदर है कि यहां आने वाले श्रद्धालु के वजह से सभी होटल फुल हैं. सारी फ्लाइट बुक है.*

भगवान रामलला 22 जनवरी को राम मंदिर में विराजमान हुए इसके बाद लाखों की संख्या में श्रद्धालु राम नगरी पहुंच रहे हैं. बीते 2 महीने की बात करें तो लगभग एक करोड़ से ज्यादा लोग रामलला का आशीर्वाद ले चुके हैं. पूरी दुनिया में इतनी बड़ी संख्या में कोई भी धार्मिक स्थल पर श्रद्धालु नहीं पहुंचे हैं. ईसाइयों के सबसे बड़े धार्मिक स्थल वेटिकन सिटी पर साल भर में करीब 90 लाख लोग आते हैं, जबकि मुसलमानों के सबसे पवित्र स्थान मक्का में पिछले साल एक करोड़ 35 लाख पहुंचे. वहीं, राम मंदिर की बात करें तो प्रतिदिन लाखों की संख्या में श्रद्धालू पहुंच रहे हैं और ऐसे में मात्र डेढ़ से 2 महीने के अंदर ही लगभग एक करोड़ लोगों ने रामलला का आशीर्वाद लिया है.
22 जनवरी यानी कि जब रामलला विराजमान हुए 10 मार्च तक लगभग एक करोड़ राम भक्तों ने रामलाल का दर्शन किए हैं. वर्तमान में प्रतिदिन एक से डेढ़ लाख श्रद्धालु रामलला के दर्शन कर रहे हैं. शुरुआती दिनों में राम भक्तों की संख्या चार लाख से ढाई लाख तक थी. वर्तमान में एक से डेढ़ लाख श्रद्धालु प्रतिदिन रामलला का दर्शन कर रहे हैं.
मक्का मदीना में केवल हज के वक्त ही लोग जाते हैं, बल्कि क्रिश्चियन के धार्मिक स्थल पर भी विशेष पर्व पर ही लोग जाते हैं. अयोध्या में प्रतिदिन 2 लाख लोग लगभग आ रहे हैं, जबकि रामलला के जन्मोत्सव के दरमियान या अनुमान लगाया जा रहा है कि प्रतिदिन राम भक्तों की संख्या 5 से 10 लाख होगी, जो रामलला का दर्शन करेंगे.
पिछले 48 दिन में लगभग 1 करोड़ से ज्यादा राम भक्तों ने राम लाल के दरबार में हाजिरी लगाई है.
अयोध्या में राम भक्तों की आमद इस कदर है कि यहां आने वाले श्रद्धालु के वजह से सभी होटल फुल हैं. सारी फ्लाइट बुक है. अयोध्या का पर्यटन लगातार बढ़ रहा है. विदेशी नागरिक अप्रवासी भारतीयों का भी आगमन शुरू हो गया है.
यह आंकड़ा तब है जब 22 जनवरी को रामलला विराजमान हुए और उसके दो महीने के अंदर ही इतनी बड़ी संख्या में राम भक्तों ने रामनगरी में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई.
अयोध्या का पुराना वैभव वापस आ रहा है. त्रेता की अयोध्या की परिकल्पना साकार होती दिख रही है और देश- दुनिया के राम भक्त राम नगरी में इन दिनों बड़ी तादाद में पहुंच रहे हैं. राम मंदिर ट्रस्ट की मानें तो प्रतिदिन लगभग डेढ़ सौ दो लाख लोग रामलला का दर्शन कर रहे हैं. अवकाश के दिनों में यह संख्या कई गुना बढ़ जाती है.

कुछ समय पूर्व महाकाल सर्वाधिक श्रद्धालुओं वाला देश का नंबर मंदिर बन गया था। क्योंकि वर्तमान में तिरुपति और शिर्डी में भी इतने श्रद्धालु नहीं आ रहे जितने उज्जैन पहुंच रहे हैं। उज्जैन के पास ओकारेश्वर ज्योतिर्लिंग में भी रोज इतने लोग नहीं जा रहे।

*अयोध्या ही नही महाकाल के दरबार मे भी श्रद्धालुओ ने रिकार्ड दर्शन कर रहे है*

दरअसल महाकाल मंदिर में पिछले कुछ सालों पहले के आंकड़े देखे तो पता चलता है कि मंदिर में औसत प्रतिदिन दिन 20 से 25 हजार की संख्या में श्रद्धालु उमड़ते थे। रविवार-सोमवार को यह आंकड़ा 40 हजार तक पहुंच जाता था और बड़े त्योहारों पर 50 हजार के पार लेकिन इससे ज्यादा लोग नहीं आते थे पर जब से महाकाल लोक बना है। मानो उज्जैन में श्रद्धालुओ की बाढ़ सी आ गई है। प्रतिदिन औसत डेढ़ से 2 लाख तक श्रद्धालु यहां महाकाल के दर्शन करने पहुंच रहे हैं। रविवार-सोमवार को यह आंकड़ा ढाई से 3 लाख तक पहुंच रहा है। जबकि हाल ही में बड़े त्योहार नागपंचमी को देखे तो महाकाल के दरबार में रिकॉर्ड तोड़ एक दिन में 5 लाख श्रद्धालुओं ने दर्शन किए।

महाकाल मंदिर में जब दर्शन करने वाले श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ी तो उज्जैन का बाजार-कारोबार भी चमक उठा। करोड़ों रुपए की कमाई होने लगी। होटल, भोजनालय से लेकर हर क्षेत्र में बूम आ गया। श्रद्धालु आ रहे हैं तो जाहिर सी बात है कि वह होटल, गेस्ट हाऊस या धर्मशाला कही भी रुकेगा, दर्शन-पूजन के लिए सामग्री खरीदेगा, दो से चार समय भोजन करेगा। एक समय का नाश्ता, दो समय की चाय, घूमने के लिए फोर व्हीलर, ऑटो, ई-रिक्शा लेगा फिर बाजार से कुछ खरीदी करेगा यानी सब कमा रहे हैं। हर क्षेत्र में व्यापार हो रहा है।

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