जब आपको वार्ता ही नहीं करनी थी तो घर तक क्यों आए, आप मेरा अपमान कर रहे है: ममता बनर्जी
अशोक झा, कोलकोता: बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और जूनियर डॉक्टरों के बीच शनिवार देर रात तक भी बैठक नहीं हो पाई है। इसकी वजह है कि मुख्यमंत्री के बुलावे पर डॉक्टर कालीघाट स्थित उनके आवास पर पहुंचे तो गए हैं लेकिन लाइव स्ट्रीमिंग की मांग पर अड़े हुए हैं और सरकार इसकी अनुमति नहीं दे रही।खास बात ये है कि करीब डेढ़ घंटे के इंतजार के बाद खुद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamata Banerjee ) घर से बाहर निकल आईं और डॉक्टरों से अनुरोध करते हुए कहा कि हाथ जोड़ रही हूं, भिगो मत अंदर आ जाओ। मुख्यमंत्री ने डॉक्टरों से आग्रह किया कि वे राजनीति को अलग रखकर, राज्य की जनता के हित में उनसे चर्चा करें। ममता बनर्जी ने कहा, अगर आप अंदर नहीं आ रहे हैं, तो फिर घर पर क्यों आए? आप मेरा अपमान कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने डॉक्टरों से कम से कम चाय पीने का आग्रह करते हुए कहा कि वे बैठक न करें, लेकिन अंदर आकर एक बार चाय जरूर पी लें। उन्होंने कहा कि उनके लिए छाते और बैठने की व्यवस्था की गई है ताकि वे भीग न जाएं। शनिवार को सीएम ममता बनर्जी के साथ हुई बैठक में भी उसकी लाइव स्ट्रीमिंग या वीडियो रिकॉर्डिंग की मांग पर बात अटक गई। जिसके बाद, ममता बनर्जी ने निराशा व्यक्त की है। इतना ही नहीं, उन्होंने प्रदर्शन कर रहे डॉक्टरों को संबोधित करते हुए कहा कि आप लोग मेरा अपमान क्यों कर रहे हैं? इसी के साथ उन्होंने एक बार फिर आंदोलनकारी जूनियर डॉक्टरों से बातचीत के बाद चल रहे गतिरोध को हल करने की नए सिरे से अपील की।
क्या बोलीं ममता बनर्जी? आरजी कर मामले को लेकर चल रहे गतिरोध को हल करने के लिए मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और जूनियर डॉक्टरों के बीच शनिवार को वार्ता विफल रहने के बाद सीएम बनर्जी ने निराशा जताई। उन्होंने कहा, ‘आज आपने कहा कि आप एक बैठक चाहते हैं, इसलिए मैंने इंतजार किया। आप लोग मेरा अपमान क्यों कर रहे हो? आप लोग कृपया मेरा इस तरह अपमान न करें। इससे पहले तीन बार मैंने इंतजार किया, लेकिन आप लोग नहीं आए।’ शनिवार शाम को वार्ता के लिए पहुंचे था जूनियर डॉक्टरों का प्रतिनिधिमंडल
इस मामले में वार्ता के जरिए हल निकालने के लिए 30 जूनियर डॉक्टरों का एक प्रतिनिधिमंडल शाम 6:00 बजे के निर्धारित समय से लगभग 45 मिनट पहले ममता बनर्जी के कालीघाट स्थित आवास पर पहुंचा। हालांकि, सरकार ने बातचीत के लिए केवल 15 प्रतिनिधियों को ही आमंत्रित किया था। सीएम के आवास पर पहुंचे डॉक्टरों ने बैठक की लाइव स्ट्रीमिंग या वीडियो रिकॉर्डिंग की मांग की थी, जिसे सीएम ने ठुकरा दिया था और खुद वीडियो रिकॉर्डिंग कर सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद उन्हें उसकी एक प्रति सौंपने की बात कही थी।सीएम बनर्जी ने डॉक्टरों से अपील करते हुए कहा, ‘चूंकि आरजी कर मुद्दा अदालत के समक्ष है, हम लाइव स्ट्रीमिंग की अनुमति नहीं दे सकते। मैं बैठक की वीडियो-रिकॉर्डिंग करूंगी और सुप्रीम कोर्ट की अनुमति के बाद ही आपको एक प्रति प्रदान करूंगी।’इससे पहले दिन में, तनाव कम करने के लिए, मुख्यमंत्री ने साल्ट लेक में स्वास्थ्य भवन के बाहर धरना दे रहे लोगों के पास अचानक पहुंची थीं। जहां उन्होंने डॉक्टरों की चिंताओं को दूर करने का प्रयास किया। ‘हमें न्याय चाहिए’ के नारों के बीच बनर्जी ने प्रदर्शनकारी डॉक्टरों को आश्वस्त किया कि वह समाधान की दिशा में काम कर रही हैं और उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी।
ममता बनर्जी से मिलने गए प्रतिनिधिमंडल में शामिल डॉक्टर का बयान
सीएम ममता बनर्जी से मिलने के बाद प्रतिनिधिमंडल में शामिल डॉ. अकीब ने कहा, ‘हमें कालीघाट में आधिकारिक बातचीत के लिए आने के लिए कहा गया था, जब हम वहां गए, तो हमने अपनी मांग से समझौता भी कर लिया बैठक का सीधा प्रसारण किया जाए। हमने कहा कि बैठक की रिकॉर्डिंग कर लीजिए और जब यह खत्म हो जाए तो कृपया हमें वह रिकॉर्डिंग उपलब्ध करा दीजिए। अधिकारी इस पर सहमत नहीं हुए और उन्होंने हमसे चाय पर बैठक करने का अनुरोध किया। लेकिन जूनियर डॉक्टरों ने कहा कि हम चाय तभी पीएंगे जब न्याय मिलेगा। हमने बाद में रिकॉर्डिंग की मांग भी छोड़ दी और सिर्फ बैठक के मिनट्स मांगे, लेकिन हमें बताया गया कि इसमें देरी हो गई है। अब कुछ भी नहीं किया जा सकता था। हम बारिश में इंतजार करते रहे, लेकिन हमें बिना किसी समाधान के लौटना पड़ा और सभी जूनियर डॉक्टर निराश हो गए। आज, संदीप घोष को गिरफ्तार कर लिया गया है और यह दर्शाता है कि हमारी मांग सही थी। घोष ने जो किया है वह एक संस्थागत अपराध है। ऐसे कई प्रिंसिपल और अधिकारी ऐसी गतिविधियों में शामिल हो सकते हैं। हम चाहते हैं कि इसमें शामिल ऐसे सभी लोग इस्तीफा दें, न्याय मिलने तक हम अपना विरोध प्रदर्शन जारी रखेंगे।’