आरोपी संजय रॉय ने खोला मुंह, मच सकता है हड़कंप

कहा, मैं निर्दोष सरकार ने मुझे फंसाया, मैंने बलात्कार और हत्या नहीं की

अशोक झा, कोलकोता: कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में हुए एक लेडी डॉक्टर के रेप और मर्डर केस के मुख्य आरोपी संजय रॉय ने कोर्ट में पहली बार अपना बयान दर्ज कराया। संजय रॉय ने अपने बयान में कहा, “मैंने बलात्कार और हत्या नहीं की है।
संजय रॉय ने कहा है कि मैने बलात्कार हत्या नहीं की है। मैं चुप रहा क्योंकि मुझे डर लग रहा है। उसने कहा कि मुझे बिना कारण फसाया गया है।उसने आगे कहा कि मुझे बोलने नहीं दिया गया। मुझे ममता सरकार फंसा रही है। बता दें कोलकाता के सियालदह की एक अदालत ने सोमवार को गिरफ्तार कोलकाता पुलिस के नागरिक स्वयंसेवक संजय रॉय के खिलाफ आरोप तय किए, जिन्होंने कथित तौर पर महिला प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ बलात्कार किया और उसकी हत्या कर दी, जो 9 अगस्त को कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में मृत पाई गई थी।
भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 103 (1) (हत्या), 64 (बलात्कार के लिए सजा) और 66 (पीड़िता को लगातार वानस्पतिक अवस्था में छोड़ने या मृत्यु का कारण बनने के लिए सजा) के तहत आरोप तय किए गए। मुकदमा 11 नवंबर को शुरू होगा। क्या है पूरा मामला ?: यह त्रासदी 9 अगस्त को सामने आई, जब दूसरे वर्ष की मेडिकल छात्रा आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के सेमिनार हॉल में मृत पाई गई। इस घटना ने पूरे पश्चिम बंगाल में विरोध प्रदर्शन को बढ़ावा दिया है, और देश भर के डॉक्टरों ने कोलकाता के जूनियर डॉक्टरों के साथ अपनी एकजुटता व्यक्त की है।9 अगस्त को कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में दूसरे वर्ष का मेडिकल छात्र मृत पाया गया था। पीड़िता कॉलेज के सेमिनार हॉल में मृत पाई गई थी।यह त्रासदी 9 अगस्त को सामने आई, जब दूसरे वर्ष का मेडिकल छात्र आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के सेमिनार हॉल में मृत पाया गया। इस घटना ने पूरे पश्चिम बंगाल में विरोध प्रदर्शन को बढ़ावा दिया है, और देश भर के डॉक्टरों ने कोलकाता के जूनियर डॉक्टरों के साथ अपनी एकजुटता व्यक्त की है।9 अगस्त को कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में दूसरे वर्ष का मेडिकल छात्र मृत पाया गया था। पीड़िता कॉलेज के सेमिनार हॉल में मृत पाई गई थी।उसने इस वारदात को अंजाम नहीं दिया है. उसे फंसाया गया है.

मुख्य आरोपी संजय रॉय ने कोर्ट में कहा, “मैंने बलात्कार और हत्या नहीं की है. मैं निर्दोष हूं. मुझे फंसाया गया है. सरकार ने मुझे फंसाया है. उन्होंने मुझे चुप रहने की धमकी दी है। मेरे विभाग (कोलकाता पुलिस) ने मुझे धमकाया है। 11 नवंबर से कोर्ट अब रोजाना इस मामले में शुरू करेगी। दरअसल, सीबीआई ने अपनी चार्जशीट में संजय रॉय को ही असली अपराधी बताया है। इसके साथ ही इस केस को गैंगरेप की बजाए रेप बताया है। इस चार्जशीट के अनुसार सिविक वालंटियर संजय रॉय ने ही वारदात को अंजाम दिया है। पीड़िता से लिए गया सीमन का सैंपल उससे मैच हो चुका है। सीबीआई ने दावा किया कि सीएफएसएल रिपोर्ट से पुष्टि हुई है कि सीमन संजय रॉय का है। कई भौतिक साक्ष्य, परिस्थितिजन्य साक्ष्य, फोरेंसिक रिपोर्ट के आधार पर साबित होता है कि वारदात को उसने ही अंजाम दिया है. इस घटना के 24 घंटे के भीतर ही कोलकाता पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया था। इस चार्जशीट में उल्लेख किया गया है कि 9 अगस्त को क्राइम सीन से मिले छोटे बाल को जांच के लिए फोरेंसिक लैब भेजा गया था। रिपोर्ट में ये बाल संजय रॉय के बताए गए हैं। इस तरह से देखा जाए तो जो बात कोलकाता पुलिस ने करीब सवा दो महीने पहले कही थी, वही बात सीबीआई ने कहा है। करीब 100 गवाहों, 12 पॉलीग्राफ टेस्ट, सीसीटीवी कैमरों, फॉरेंसिक रिपोर्ट, मोबाइल की कॉल डिटेल और लोकेशन, ईयरफोन और आरोपी के बयान के बाद चार्जशीट फाइल की गई है। इसमें सीबीआई ने भी ये साफ कर दिया है कि ट्रेनी जूनियर डॉक्टर के साथ रेप हुआ था, ना कि गैंगरेप। ट्रेनी जूनियर डॉक्टर का क़त्ल एक अकेले संजय रॉय ने किया था। इसके पीछे किसी और की साजिश नहीं थी. सीबीआई की चार्जशीट के मुताबिक, इस केस को सुलझाने में तीन चीजें सबसे अहम साबित हुई हैं. इनमें पहली, अस्पताल के सेमिनार रूम के बाहर सीसीटीवी कैमरे से मिली तस्वीरें हैं। इन तस्वीरों में 9 अगस्त की सुबह 4 बजे संजय रॉय सेमिनार हॉल के अंदर जाता दिखाई देता है। आधे घंटे बाद वो बाहर निकल जाता है. इस दौरान सेमिनार हॉल में संजय के अलावा ना और कोई दूसरा गया, न बाहर आया. दूसरी, सेमिनार हॉल से मिला संजय रॉय का मोबाइल का ईयरफोन। जो बाद में उसी के ब्लूटूथ से कनेक्ट हो गया था. तीसरी, सबसे अहम चीज फॉरेंसिक रिपोर्ट थी। ट्रेनी जूनियर डॉक्टर के नाखुन में मिले खून से संजय का डीएनए मैच कर गया. इसके अलावा सीमन का डीएनए भी संजय से मैच कर गया था. प्राइवेट पार्ट से भी संजय का ही डीएनए सैंपल मिला था। चार्जशीट के मुताबिक, वारदात वाली रात संजय रॉय ने काफी शराब पी रखी थी. उसी नशे में वो रात करीब चार बजे अस्पताल के तीसरी मंजिल पर पहुंचा. इस बात से अंजान कि सेमिनार हॉल में ट्रेनी जूनियर डॉक्टर सो रही है, वो सेमिनार हॉल में पहुंच गया. वहां उसे ट्रेनी डॉक्टर दिखाई देती है। इसी के बाद वो उसके साथ जबरदस्ती करने की कोशिश करता है। डॉक्टर खुद को बचाने की कोशिश करती है। वो उसका मुंह और गला दबाने लगता है. चार्जशीट के मुताबिक संजय रॉय ने जब ट्रेनी डॉक्टर के साथ रेप किया, तब वो बेहोश थी। पीड़ित के जिस्म पर 16 बाहरी और 9 अंदरुनी चोट थी। खुद को बचाने के दौरान उसने संजय पर हमला भी किया था। इसकी वजह से खरोंचने के दौरान उसके नाखुन में उसका ब्लड आ गया था। संजय के हाथ और गर्दन पर भी खरोंचे जाने के निशान थे। इसका वो सही-सही जवाब नहीं दे पाया था। फिलहाल कोर्ट में आरोप तय करने की प्रकिया शुरू हो गई है।

 

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