जीटीएस कल्ब के ‘ग्रैंड लिसाबो होटल’ के तर्ज पर बने पंडाल को पसंद कर रहे श्रद्धालु

जीटीएस कल्ब के ‘ग्रैंड लिसाबो होटल’ के तर्ज पर बने पंडाल
को पसंद कर रहे श्रद्धालु
सिलीगुड़ी : दुर्गापूजा के बाद अब कालीपूजा को लेकर शहर में रौनक दिखाई देने लगा है। सिलीगुड़ी भुटिया मार्केट के नाम से चर्चित स्थान पर सिलीगुड़ी जीटीएस क्लब की ओर से इस बार ग्रैंड लिसाबो होटल के तर्ज पर पंडाल का निर्माण कराया गया है। पूजा पंडाल का शुभ उद्घाटन भी मेयर गौतम देव ने की है। यह पंडाल सिलीगुड़ी नहीं बल्कि उत्तर बंगाल के लिए आकर्षण का केंद्र बन गया है। पूजा समिति ने तैयारी शुरू कर दी है”सार्वजनिक आनंद के लिए पूजा शुरू की आज जिस मैदान में पूजा का आयोजन हो रहा है, वहां कभी सन्नाटा पसरा रहता था। यहां लोग आने से भी डरते थे। तब यहां कुछ ही परिवार रहते थे और शहर में एक-दो जगहों पर ही काली पूजा का आयोजन किया जाता था। इसके बाद ही यहां के लोगों ने मिलकर सार्वजनिक कालीपूजा शुरू की। देखते ही देखते पूजा के 69 वर्ष पूरे हो गए हैं। अब यहां का आयोजन बेहतर ढंग से होने लगा है। बजट में लाखों रुपये खर्च किए जा रहे हैं। | पूजा के दौरान यहां काफी दूर-दराज से श्रद्धालु घूमने आते हैं। कल्ब के सचिव तपन साहा ने कहा की पूजा में क्लब के अलावा स्थानीय लोगों का भरपूर योगदान रहता है। बीते 69 वर्षों से पूजा का आयोजन होता आ रहा है। इस वर्ष मकाऊ के ग्रैंड लिसाबो होटल के तर्ज पर पंडाल बनाया गया है। करीब एक महीने से पंडाल का काम चल रहा था। पंडाल के लिए कारीगर कोलकाता के कांथी से पहुंचे हैं। चंदननगर की होगी लाइटिंग के अलावा इसमें बांस, लकड़ी और कांच का इस्तेमाल किया जा रहा है। जो रात के वक्त काफी चमकेगी। पूजा का बजट 50 लाख रुपये है। पंडाल के काम के लिए कोलकाता के कांथी से कारीगर ने काम किया।
यहां तक पहुंचने के लिए श्रद्धालु को कोई कष्ट ना हो इसके लिए यातायात व्यवस्था की गई है। यहां सुबह शाम लोगआटोरिक्शा, टोटो या निजी वाहन का इस्तेमाल कर रहे है। यह पंडाल पानीटंकी मोड़ और सफदर हाशमी चौक से करीब दो किलोमीटर की दूरी पर है। पूजा के दौरान वाहनों की पार्किंग और दर्शनार्थियों की भीड़ पर काबू पाने के लिए विशेष बंदोबस्त किए गए हैं। रिपोर्ट अशोक झा

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