गोण्डा में फर्जी जमीन घोटाले में गिरफ्तार अधिवक्ता की इलाज के दौरान मौत 

वकीलों ने जमकर काटा हंगामा पुलिस कस्टडी मे अधिवक्ता ने पीया था जहरीला पदार्थ ड्यूटी में लापरवाही के आरोप मे एक दरोगा सहित दो कांस्टेबल निलम्बित 

 

गोण्डा।चर्चित कूट रचित दस्तावेज के माध्यम से  जमीन के फर्जी वाडे के मामले मे आरोपी अधिवक्ता की पुलिस कस्टडी मे इलाज के दौरान मौत होने पर अधिवक्ताओ ने जमकर हंगामा काटा है।अधिवक्ता ने पुलिस कस्टडी मे शौचालय के प्रयोग मे आने वाली जहरीला पदार्थ हार्पिक पी लेने पर जिला अस्पताल मे इलाज के लिए भर्ती कराया गया था। पुलिस अधीक्षक ने ड्यूटी मे लापरवाही बरतने के आरोप मे एक सब इंस्पेक्टर सहित दो कांस्टेबलो को निलंबित करते हुए जांच के निर्देश दिए गए है।

जनपद मे चर्चित कूट रचित दस्तावेज के माध्यम से फर्जी बैनामे के माध्यम से जमीन घोटाले के मामले मे रोज नये नित्य मामले प्रकाश मे आ रहे थे।  जिसको लेकर पूर्व डीआईजी देवी पाटन मण्डल उपेन्द्र अग्रवाल ने पूरे प्रकरण को शासन स्तर पर पेश कर जांच के लिए एसआईटी टीम गठित करने की मांग की थी।  शासन के दिशा निर्देश पर जमीन घोटाले से संबंधित जांच  के लिए एसआईटी टीम का गठन किया गया था। इस कूटरचित दस्तावेजों को लेकर हजारों एकड़ भूमि का घोटाला किया गया है जिसको लेकर 100 से अधिक मुकदमे विभिन्न थाना कोतवाली में दर्ज है जिसमें सब रजिस्टार से लेकर अधिवक्ता सहित आधे दर्जन से अधिक लोग जेल भेजे जा चुके हैं। इसके पूर्व भी भूमि घोटाले से संबंधित एक व्यक्त की जेल में मौत हो गई थी।

इसी जमीन के फर्जी वाडे मे धारा 419, 420, 467, 468 , 471, 120बी  से संबंधित कई मामलो के आरोपी अभियुक्त अधिवक्ता राजकुमार लाल श्रीवास्तव पुत्र दीपचंद मूल निवासी बाबागंज धानेपुर वर्तमान पता गायत्रीपुरम सिविल लाइन थाना कोतवाली नगर,  गोंडा  60  को सिविल लाइन चौकी प्रभारी उ0नि0 रजनीश द्विवेदी व कांस्टेबल कमलेश कुमार,  शिवम मिश्रा द्वारा 12 मई को जिला रामपुर से गिरफ्तार कर  पूछताछ हेतु गोंडा लेकर आ रहे थे की रास्ते में शौच क्रिया करने के दौरान उक्त आरोपी ने शौचालय में रखी कीट नाशक हार्पिक पी लेने पर पुलिस ने जिला अस्पताल भर्ती कराया उक्त बात पी डी गुप्ता सीएमएस ने बताते हुए कहा हालत गंभीर होने पर 12 को ही राम मनोहर लोहिया अस्पताल लखनऊ में पुलिस कस्टडी मे रेफर किया गया था।

पुलिस अधीक्षक आकाश तोमर ने बताया है कि 14 मई को स्वस्थ होने पर राम मनोहर लोहिया से डिसचार्ज किया गया था। उसके उपरांत गिरफ्तार कर चिकित्सकीय परीक्षण कराते हुए न्यायालय के समक्ष पेश होने पर वहां से जिला कारागार गोण्डा भेजा गया था। वहाँ के चिकित्सक द्वारा अभियुक्त की शिकायत पर उसे पुनः उसी दिन शाम को जिला चिकित्सालय गोण्डा में पुलिस कस्टडी में समुचित इलाज के लिए भर्ती कराया गया था।जहां पर इलाज के दौरान मंगलवार को मौत हो गयी है।

मौत खबर पर परिजन और अधिवक्ताओं ने जमकर हंगामा काटा अधिवक्ताओं ने मांग है दोषी पुलिसकर्मी के विरुद्ध मुकदमा दर्ज किया किया जाए और मामले की उच्च स्तरीय जांच कराई जाए, वहीं पर भाई का आरोप है पुलिस अभिरक्षा में संदिग्ध परिस्थिति में मौत हुई है इसकी जांच कराकर कार्रवाई की जाए।अधिवक्ताओ की मांग पर सीएमओ ने तीन सदस्यीय  टीम गठित कर वीडिओ ग्राफी कराते हुए शव का पोस्टमार्टम कराया गया है।

पूरे प्रकरण में ड्यूटी में लापरवाही बरतने पर पुलिस अधीक्षक आकाश तोमर ने उ0नि0 रजनीश द्विवेदी, आरक्षी कमलेश कुमार, व आरक्षी शिवम मिश्रा को तत्काल प्रभाव से निलम्बित कर जांच के निर्देश दिए है।

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अधिवक्ताओ ने न्यायिक जांच की मांग की

बार एसोसिएशन के अध्यक्ष महाराज श्रीवास्तव ने  अधिवक्ता की मौत के मामले मे न्यायिक जांच कराने की मांग की है। वही वरिष्ठ अधिवक्ता रवि प्रकाश पाण्डेय ने कहा है कि अब पुलिस अभिरक्षा मे लोगो को मारने का काम किया जा रहा अभी अतीक अहमद के मामला शांत नही हुआ है कि बिना दोष सिद्ध हुए एक अधिवक्ता को पुलिस कस्टडी मे मौत होना न्यायिक प्रकिया का खुला उल्लंघन है पूरे प्रकरण की सीबीआई जांच होनी चाहिए।

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