कैलाश विजवर्गीय फिर पार्टी को नहीं करेंगे निराश, अब तक नहीं किया हार का सामना

सिलीगुड़ी: मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव को लेकर मतगणना होने वाली है। जल्द ही विधानसभा चुनाव 2023 के नतीजे सामने आना शुरू हो जाएंगा। इससे पता चल जाएगा कि प्रदेश की सत्ता में शिवराज सरकार की वापसी होगी या नहीं। ये चुनाव सीएम शिवराज के साथ-साथ कई और दिग्गज नेताओं के बहुत खास है। इन्हीं दिग्गज नेताओं में कैलाश विजयवर्गीय का नाम भी शामिल है।अब तक नहीं किया हार का सामना: कैलाश विजयवर्गीय भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव और मध्य प्रदेश के वरिष्ठ नेताओं में एक है। भाजपा ने इस बार भी उन्हें मालवा की इंदौर-1 विधानसभा सीट पर उतारा है। कैलाश विजवर्गीय लगातार यहां से अपनी जीत का दावा कर रहे हैं। बता दें कि, कैलाश विजयवर्गीय इंदौर के एक सक्रिय और पॉपुलर राजनेता हैं। कैलाश विजयवर्गीय ने इंदौर- 4 विधानसभा सीट से ही अपने राजनीतिक करियर की शुरुआत की थी। वो 6 बार इसी सीट से विधायक बने। उन्होंने अभी तक विधानसभा चुनाव में हार का सामना नहीं किया है। इसके अलावा कैलाश विजयवर्गीय 12 साल से अधिक समय तक राज्य सरकार में केंद्रीय मंत्री रहे हैं। साथ ही विजयवर्गीय भाजपा के स्टार प्रचारक भी है।कॉलेज से ही राजनीति में रखा कदम: कैलाश विजयवर्गीय ने अपने कॉलेज से ही राजनीति में कदम रख दिया था। 1975 में उन्होंने एबीवीपी के इंदौर अध्याय के माध्यम से अपने राजनीतिक करियर की शुरू की। इसके बाद साल 1983 में वो इंदौर नगर निगम के पार्षद बने। फिर 1990 में इंदौर- 4 सीट से पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ा। उन्होंने इस चुनाव में कांग्रेस पार्टी के इकबाल खान को हजारों वोटों से हराया था। साल 2014 में भाजपा ने विजयवर्गीय को हरियाणा का पार्टी चुनाव अभियान प्रभारी बनाया। उनके नेतृत्व में हरियाणा के अंदर भाजपा की सरकार बनी और ये उनके लिए बड़ी सफलता साबित हुई। हरियाणा की सफलता को देखते हुए 2015 में भाजपा अध्यक्ष अमित शाह द्वारा राष्ट्रीय महासचिव और पश्चिम बंगाल में पार्टी का नया नेता नियुक्त किया गया। दरअसल इंदौर के पंचकुइया मंदिर पर 24 घंटे का अखंड रामायण पाठ चल रहा है और यह पाठ करने का मकसद कैलाश विजयवर्गीय को प्रचंड जीत दिलाना है जब कैलाश विजयवर्गीय से सवाल किया गया कि आपके लिए यहां पर अखंड रामायण का पाठ रखा गया है और आपकी प्रचंड जीत हो उसके लिए हवन भी किया जा रहा है इस सवाल के जवाब में कैलाश विजयवर्गी का कहना था कि उन पर हनुमान जी की कृपा सदा रही है और इस बार भी रहेगी।।मध्य प्रदेश की राजनीति में हनुमान जी केंद्र में रहे हैं फिर चाहे बात प्रियंका गांधी की हो कमलनाथ की हो या फिर कैलाश विजयवर्गीय की दरअसल मध्य प्रदेश में राजनीतिक हलचल उसे वक्त बढ़ गई थी जब प्रियंका गांधी का मध्य प्रदेश दौरा हुआ था और वह विधानसभा चुनाव के सिलसिले में जबलपुर में एक आमसभा संबोधित करने आई थी उसे वक्त वहां भी एक हनुमान जी की मूर्ति और एक चौराहे पर हनुमान जी की गदा को रखकर कांग्रेस सॉफ्ट हिंदुत्व की राह पर चल पड़ी थी। उसके बाद कमलनाथ ने भी अपने क्षेत्र छिंदवाड़ा में सुंदरकांड और हनुमान मंदिर पर पूजा पाठ का दौर शुरू किया।बागेश्वर धाम सरकार की कथा भी उन्होंने कार्रवाई और कैलाश विजयवर्गीय की बात करें तो इंदौर में पितृ पर्वत पर कैलाश विजयवर्गी ने हनुमान जी का बहुत बड़ा स्थान बनाते हुए पित्रेश्वर धाम बना दिया है जहां हनुमान जी की विशालकाय प्रतिमा मौजूद है। इस बार मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में जो मतदान हुआ है उसमें किसी भी पार्टी को स्पष्ट बहुमत मिलता दिखाई नहीं दे रहा है, हालांकि एग्जिट पोल में जरूर कुछ एक सर्वे में बीजेपी तो कहीं कांग्रेस को बढ़त दिखाई दी है, लेकिन मतदाता इस बार मौन रहा और उसने किसे वोट दिया। यह नहीं बताया कुछ लोग बदलाव की बात करते हैं तो कुछ लोग कहते हैं कि लाडली बहन योजना मध्य प्रदेश में गेम चेंजर साबित होने जा रही है वहीं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान बीजेपी की जीत को लेकर आश्वस्त हैं तो वहीं कमलनाथ ने अपनी जीत को लेकर कहा कि एग्जिट पोल को वह नहीं मानते और जनता का आशीर्वाद उनके साथ है। @ रिपोर्ट अशोक झा

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