19 दिसंबर को I-N-D-I-A गठबंधन की बैठक में और 20 को पीएम के साथ बैठक में होंगी शामिल ममता अभिषेक

कोलकाता: अब फिर से 19 दिसंबर को इंडिया गठबंधन की बैठक है. ममता बनर्जी इस बैठक में शामिल होंगी, लेकिन बैठक में शामिल होने के अगले दिन ही 20 दिसंबर को पीएम मोदी से भी मुलाकात करेंगी। पहले इंडिया गठबंधन की बैठक में शामिल होने और फिर पीएम मोदी से मुलाकात को लेकर सियासी कयास तेज हो गए हैं। ममता बनर्जी को पीएम मोदी का कट्टर विरोधी माना जाता रहा है, लेकिन विरोध के बावजूद ममता बनर्जी और पीएम मोदी के व्यक्तिगत रिश्ते काफी अच्छे हैं। बंगाल में विधानसभा चुनाव के बाद पीएम मोदी और ममता बनर्जी के बीच कई मुलाकात हुई थी। इसे लेकर बंगाल कांग्रेस के नेता अधीर चौधरी से लेकर माकपा नेताओं ने ममता-मोदी के बीच सेटिंग का आरोप लगाया था।।ममता बनर्जी ने भी पीएम मोदी पर सीधा हमला करना बंद कर दिया था।।लेकिन मुस्लिम बहुल सागरदिघी के विधानसभा चुनाव उपचुनाव में टीएमसी उम्मीदवार की पराजय के बाद ममता बनर्जी ने अपनी नीति बदली और फिर से बीजेपी पर हमला बोलना शुरू कर दिया। इस बीच, बीजेपी के खिलाफ बने इंडिया गठबंधन की प्रमुख घटक दल के रूप में टीएसमी उभरी। छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश और राजस्थान विधानसभा चुनावों में कांग्रेस की पराजय के बाद अब फिर से इंडिया गठबंधन को एकजुट करने की कवायद शुरू हो गई है। पीएम मोदी के साथ मुलाकात में ममता के साथ रहेंगे अभिषेक
लेकिन 19 दिसंबर की इंडिया गठबंधन की बैठक के अगले दिन ही सीएम ममता बनर्जी पीएम मोदी से मुलाकात करेंगी। टीएमसी की ओर से कहा गया है कि ममता बनर्जी बंगाल के बकाया आदि की मांग को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात करेंगी। अगर सब कुछ योजना के मुताबिक रहा तो प्रधानमंत्री के साथ उस बैठक में तृणमूल कांग्रेस के सांसद और उनके भतीजे अभिषेक बनर्जी ममता के साथ रहेंगे। प्राप्त जानकारी के अनुसार दोनों एक साथ दिल्ली जाने वाले हैं। प्रधानमंत्री से मिलने का समय मिलने के बाद ममता बनर्जी ने कहा कि उनके साथ कुछ सांसद भी होंगे। ममता बनर्जी के साथ अभिषेक बनर्जी का पीएम मोदी के साथ मुलाकात करने जाना राजनीतिक रूप से काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है, क्योंकि अभिषेक बनर्जी लगातार पीएम मोदी पर हमला बोलते रहते हैं। अभिषेक बनर्जी ही थे, जिन्होंने बंगाल के बकाया के मुद्दे पर दिल्ली में अक्टूबर की शुरुआत में आंदोलन किया था। गांधी जयंती पर राजघाट पर धरना, अगले दिन जंतर मंतर पर विरोध के बाद कृषि भवन अभियान किया था। बाद में पुलिस कार्रवाई के बाद गिरफ्तारी भी हुई थी। दिल्ली से लौटने के बाद अभिषेक बनर्जी लगातार पांच दिनों तक राजभवन के उत्तरी गेट के सामने धरने पर बैठे रहे. राज्यपाल द्वारा समय दिए जाने के बाद आंदोलन वापस ले लिया गया था।पीएम मोदी के बंगाल दौरे के पहले यह मुलाकात अहम
ममता बनर्जी और अभिषेक बनर्जी पहाड़ में एक पारिवारिक कार्यक्रम में एक साथ थे, लेकिन किसी भी राजनीतिक कार्यक्रम में उन्हें एक साथ नहीं देखा गया। उस लिहाज से देखें तो ममता बनर्जी-अभिषेक बनर्जी की मोदी से मुलाकात तृणमूल के आंतरिक समीकरण के लिहाज से भी ‘महत्वपूर्ण’ है. बता दें कि अभिषेक बनर्जी पर शिक्षा भर्ती घोटाला से लेकर कोयला और गाय तस्करी मामले में शामिल होने के आरोप लगते रहे हैं. इस बाबत अभिषेक बनर्जी की पत्नी रुजिरा बनर्जी से लेकर उनके ससुराल के कई लोगों से ईडी और सीबीआई ने पूछताछ भी की है. अभिषेक बनर्जी से भी ईडी और सीबीआई ने पूछताछ की है और जांच जारी है। ऐसे में अगले साल लोकसभा चुनाव प्रस्तावित हैं। पिछले लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने बंगाल की 42 सीटों में से 18 सीटों पर जीत हासिल की थी। इस बार केंद्रीय मंत्री अमित शाह ने 34 सीटों पर जीत का टारगेट दिया है। पीएम मोदी खुद 24 दिसंबर को बंगाल आ रहे हैं और बंगाल में सामूहिक गीता पाठ कार्यक्रम में शामिल होंगे। अयोध्या में राम मंदिर के उद्घाटन के पहले कोलकाता में गीता पाठ का कार्यक्रम राजनीतिक रूप से काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है. इस कार्यक्रम के माध्यम से बीजेपी हिंदू वोटों को एकजुट करने की कोशिश करेगी। ऐसे में साफ है कि बीजेपी बंगाल को लेकर काफी आक्रमक है और बंगाल में अपनी पकड़ बनाने की पूरी कोशिश कर रही है। तो ममता बनर्जी का चिंतित होना स्वाभाविक है। मोदी के बंगाल दौरे के पहले अब ममता बनर्जी और पीएम मोदी की मुलाकात होगी, जो राजनीतिक रूप से काफी अहम मानी जा रही है। इसके पहले दिल्ली में ममता बनर्जी और पीएम मोदी की मुलाकात को लेकर विपक्ष सवाल खड़ा करता रहा है। माकपा के एक आला नेता का कहना है कि मुद्दा भले ही बंगाल के बकाया का रहा हो, लेकिन दो राजनीतिक हस्तियों के बीच मुलाकात केवल प्रशासनिक मामले तक सीमित नहीं रहता है। इनके राजनीतिक प्रभाव भी होते हैं और इसका खुलासा भविष्य में ही हो पाएगा। अपने इस दौरे के दौरान मुख्यमंत्री वहां I-N-D-I-A गठबंधन की बैठक में शामिल होंगी। इसके साथ ही 20 दिसंबर को सुबह 11 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मिलेंगी। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव व सांसद अभिषेक बनर्जी भी रहेंगे। इससे पहले राज्य के बकाया फंड को लेकर सांसद अभिषेक बनर्जी ने नयी दिल्ली में धरना दिया था। मुख्यमंत्री नयी दिल्ली दौरे के समय विपक्षी पार्टी के अन्य नेताओं के साथ भी बैठक करेंगी।
अभिषेक ने ही बंगाल बकाया आंदोलन को दिल्ली की सड़कों तक पहुंचाया
अभिषेक बनर्जी ही थे जिन्होंने बंगाल के बकाया आंदोलन को दिल्ली की सड़कों तक पहुंचाया था। अक्टूबर की शुरुआत में जब आंदोलन चल रहा था, ममता बनर्जी पैर की समस्याओं के कारण घर में थीं। हालांकि उन्होंने घर से अभिषेक बनर्जी को जरूरी निर्देश दिए थे। गांधी जयंती पर राजघाट पर धरना, अगले दिन जंतर – मंतर पर विरोध प्रदर्शन के बाद कृषि भवन अभियान, पुलिस कार्रवाई कुल मिलाकर, तृणमूल आंदोलन दिल्ली सहित राष्ट्रीय स्तर की राजनीति पर अपना प्रभाव पैदा करने में कामयाब रहा.दिल्ली से लौटने के बाद अभिषेक लगातार पांच दिनों तक राजभवन के उत्तरी गेट के सामने धरने पर बैठे रहे। राज्यपाल द्वारा समय दिए जाने के बाद आंदोलन वापस ले लिया गया।
मुख्यमंत्री 17 दिसंबर को दिल्ली जायेंगी। 19 दिसंबर को ‘I-N-D-1-A ‘ गठबंधन की बैठक में शामिल होगी. अगले दिन यानी 20 दिसंबर को ममता की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात है. मुख्यमंत्री ने पहले ही समय मांगा था। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री ने पहले ही बताया था कि प्रधानमंत्री ने 20 दिसंबर का समय दिया है। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने प्रधानमंत्री से मिलने के लिए समय मांगा था और पीएम ने 20 दिसंबर को सुबह 11 बजे का समय दिया है। इससे पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा था कि केंद्र सिर्फ राजनीतिक बदले की भावना से बंगाल के बकाया फंड का भुगतान नहीं कर रही है। रिपोर्ट अशोक झा

Back to top button