श्रीराम व श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की कथा सुनकर भाव विभोर हुए श्रोता
श्रीराम व श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की कथा सुनकर भाव विभोर हुए श्रोता
उप्र बस्ती शहर के मुरलीजोत मोहल्ले में चल रही श्रीमद् भागवत कथा के पांचवे दिन शुकवार को कथा वाचक पार्थेश्वर प्रसाद दूबे ने श्रीमद्भागवत कथा का महत्व बताते हुए प्रभु राम व कृष्ण जन्म की कथा सुनाई। कहा कि कलयुग में भागवत की कथा सुनने से जीव को मोक्ष की प्राप्ति होती है। साथ ही जन्म जन्मांतर के पापों का अंत भी होता है। कृष्ण व श्री राम जन्मोत्सव का वर्णन सुन दर्शक भाव विभोर हो गए।कथा पार्थेश्वर प्रसाद ने कहा कि जब पृथ्वी पर अत्याचार बढ़ने लगा तब गौ माता भगवान ब्रह्मा के पास पहुंची और उसका निवारण करने की बात कहने लगी। तब भगवान ब्रह्मा ने गौ माता से कहा कि सृष्टि के सभी लोगों को प्रभु का ध्यान करना चाहिए तब जाकर इस समस्या का समाधान होगा। गजेंद्र मोक्ष राम जन्म व कृष्ण जन्म की कथा सुनाते हुए कहा कि तालाब में स्नान करने गए गजेंद्र का पैर घड़ियाल ने पकड़ लिया था जिसकी पीड़ा से गजेंद्र परेशान थे और उन्होंने भगवान का स्मरण किया जिसके बाद भगवान नारायण पहुंचकर गजेंद्र को मुक्त कराया। इसके बाद अयोध्या में जन्मे भगवान श्री राम की कथा सुनाई। राजा दशरथ महारानी कौशल्या के घर जन्म हुआ भगवान श्री राम ने मर्यादा स्थापित कर मर्यादा पुरुषोत्तम कहलाया है। बंदी गृह में भगवान श्री कृष्ण का जन्म हुआ जिसके बाद बसु देव जी ने बालक को लेकर गोकुलधाम नंद बाबा यशोदा के पास छोड़ आए और वहां कृष्ण जन्म का उत्सव मनाया गया। इस दौरान सभी भक्तों ने भागवत की आरती उतारी और प्रसाद का वितरण किया गया। इस मौके पर यजमान केशव प्रसाद दूबे, चंद्रावती दूबे, मंजू मिश्रा, बागीश मिश्र,सुषमा तिवारी,अभिनेंद्र , अंशू दूबे ,अमित सहित तमाम लोग मौजूद रहे।