दीपावली पर्व और आगामी त्योहारों के मद्देनज़र कानून-व्यवस्था को लेकर मंडलायुक्त ने जारी किए जिलाधिकारियों के लिए दिशा निर्देश

 

🟠 *अयोध्या में दीपोत्सव और अन्य धार्मिक पर्वों के दौरान सौहार्दपूर्ण माहौल बनाए रखने के लिए प्रशासनिक तैयारी जोरों पर*

*गोण्डा 24 अक्टूबर 2024* – आगामी दीपावली पर्व और अन्य धार्मिक त्योहारों के मद्देनज़र देवीपाटन मंडल के आयुक्त शशि भूषण लाल सुशील ने गोण्डा, बहराइच, बलरामपुर, और श्रावस्ती जिलों के जिलाधिकारियों को महत्वपूर्ण निर्देश जारी किए हैं। इन निर्देशों में कानून-व्यवस्था को सख्ती से लागू करने और साम्प्रदायिक सौहार्द बनाए रखने के लिए सभी जरूरी कदम उठाने पर जोर दिया है।

आयुक्त ने इस संदर्भ में जिलाधिकारियों को दीपावली पर्व, धनतेरस, नरक चतुर्दशी, गोवर्धन पूजा, भैया दूज, छठ पूजा और कार्तिक पूर्णिमा जैसे महत्वपूर्ण त्योहारों के मद्देनज़र क्षेत्रीय शांति और कानून-व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि दीपावली के अवसर पर जैन समुदाय द्वारा भगवान महावीर का निर्वाण दिवस भी मनाया जाता है, जिसकी सुरक्षा भी प्रशासन की प्राथमिकता होनी चाहिए।

साथ ही, अयोध्या में आयोजित होने वाले दीपोत्सव और पंचकोसी एवं चौरासी कोसी परिक्रमा के आयोजन को ध्यान में रखते हुए प्रशासन से सख्त निगरानी रखने का आग्रह किया गया है। इन त्योहारों के दौरान आने वाली भीड़ और धार्मिक आस्थाओं के चलते कोई भी अप्रिय घटना न हो, इसके लिए विशेष सतर्कता बरतने की जरूरत पर जोर दिया गया है।

*त्योहारों के दौरान सुरक्षा के सभी जरूरी प्रबंध सुनिश्चित करने के निर्देश*

आयुक्त शशि भूषण लाल सुशील ने जिलाधिकारियों को इस बात पर ध्यान केंद्रित करने का निर्देश दिया है कि दीपावली के पूर्व से ही बाजारों और घरों में सजावट, पटाखे और आतिशबाजी का आयोजन शुरू हो जाता है। धनतेरस से दीपावली तक लोग रात देर तक बाजारों में खरीदारी करते हैं, जिससे कानून-व्यवस्था की चुनौतियां बढ़ जाती हैं। इसके लिए पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों को सतर्क दृष्टि रखने का निर्देश दिया गया है ताकि किसी भी प्रकार की साम्प्रदायिक तनाव या अनहोनी को रोका जा सके।

इसके अलावा शासन द्वारा जारी 27 विशेष दिशा-निर्देशों का पालन सुनिश्चित करने का आदेश दिया गया है, जो साम्प्रदायिक तनाव को नियंत्रित करने और धार्मिक सौहार्द बनाए रखने के लिए आवश्यक हैं।

*भूमि विवादों पर भी कड़ी नजर बनाए रखे प्रशासन*

आयुक्त ने निर्देशित किया है कि हाल के दिनों में गोण्डा जिले से भूमि कब्जे से संबंधित विवादों की लिखित और मौखिक शिकायतें बढ़ रही हैं। इस संबंध में, सभी उप जिलाधिकारियों, तहसीलदारों, नायब तहसीलदारों, राजस्व निरीक्षकों और लेखपालों को सख्त निर्देश दिए गए हैं कि वे भूमि विवादों का तुरंत निस्तारण करें और अपने अधीन क्षेत्र में कानून-व्यवस्था बनाए रखें। उन्हें क्षेत्र में होने वाले छोटे-से-छोटे विवादों को गंभीरता से लेकर त्वरित समाधान के निर्देश दिए गए हैं।

*तहसील स्तर पर हो कंट्रोल रूम की स्थापना*

आयुक्त ने सुझाव दिया है कि सभी तहसीलों में कंट्रोल रूम स्थापित किए जाएं, जहां दिन-रात कर्मचारियों की तैनाती की जाएगी। कंट्रोल रूम का नंबर ग्राम प्रधानों, पंचायत विकास अधिकारियों, चौकीदारों, आशा बहुओं और अन्य ग्राम स्तरीय अधिकारियों को सूचित किया जाएगा ताकि वे किसी भी अप्रिय घटना की तुरंत सूचना दे सकें।
इसी के साथ गांवों में स्थापित सर्तकता समितियों और स्वयंसेवी संगठनों को भी अपने क्षेत्र में सतर्क निगरानी रखने और किसी भी अनियमितता की रिपोर्ट कंट्रोल रूम में करने के लिए निर्देशित किया गया है।

*शासन के आदेशों का हो कड़ाई से अनुपालन*

शासन द्वारा साम्प्रदायिकता नियंत्रण प्रकोष्ठ, गृह विभाग द्वारा जारी निर्देशों का कड़ाई से पालन करने की भी बात कही गई है। इन निर्देशों में सामाजिक और साम्प्रदायिक सौहार्द बनाए रखने, सुरक्षा और कानून व्यवस्था को मजबूत बनाए रखने पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए गए हैं।

आयुक्त शशि भूषण लाल सुशील ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देशित किया है कि वे त्योहारों के दौरान प्रशासनिक और सुरक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ बनाएं, जिससे जनता में शांति और सुरक्षा का माहौल बना रहे।

*त्योहारों की इन तारीखों पर रहेंगे अभूतपूर्व सुरक्षा इंतजाम*

31 अक्टूबर को दीपावली, 29 अक्टूबर को धनतेरस, 30 अक्टूबर को नरक चतुर्दशी, 2 नवंबर को गोवर्धन पूजा, 3 नवंबर को भैया दूज, 7 नवंबर को छठ पूजा, और 15 नवंबर को कार्तिक पूर्णिमा एवं गुरुनानक जयंती मनाई जाएगी। इसके साथ ही अयोध्या में दीपोत्सव, पंचकोसी और चौरासी कोसी परिक्रमा जैसे बड़े आयोजन भी होंगे, जिनमें बड़ी संख्या में श्रद्धालु शामिल होंगे।

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