काशी में हिंदू संगठनों की मांग मुगलों का महिमामंडन करनेवाली वेबसीरीज ‘ताज : डिवाइडेड बाय ब्‍लड’ एवं धार्मिक भेदभाव करनेवाला ‘हलाल प्रमाणपत्र’ दिए जानेपर सरकार प्रतिबंध लगाए

वाराणसी – विदेशी आक्रांताओं तथा हिन्‍दुओं पर अमानवीय अत्‍याचार करनेवाले मुगलों का महिमामंडन करनेवाली वेबसीरीज ‘ताज : डिवाइडेड बाइ ब्‍लड’ एवं मुसलमानों को केवल मुसलमानों के साथ ही व्‍यवहार करने हेतु प्रोत्‍साहित करनेवाला ‘हलाल प्रमाणपत्र’ दिए जानेपर पर प्रतिबंध लगाया जाए इन मांगों के लिए यहां के शास्‍त्री घाट पर हिन्‍दू संगठनों ने मिलकर हिन्‍दू राष्ट्र जागृति आंदोलन किया । इस समय वाराणसी व्‍यापार मंडल अध्‍यक्ष श्री. अजीत सिंह बग्‍गा, महामंत्री श्री. कविंद्र जयसवाल, मंत्री श्री. संजय केसरी, मीडिया प्रभारी डॉ. रमेश दत्त पांडे, श्री आदिमहादेव काशी धर्मालय मुक्ति न्‍यास के प्रबंध ट्रस्‍टी डॉ. रामप्रसाद सिंह, केंद्रीय ब्राह्मण महासभा के श्री. मनीष कुमार शर्मा, पांडेयपुर व्‍यापार मंडल के श्री. गोपाल दास गुप्‍ता, हिन्‍दुस्‍तान समाचार के श्री. संजय शुक्‍ला, ऑटो यूनियन के अध्‍यक्ष श्री. ईश्‍वर सिंह, हिंदू समाज पार्टी के श्री. शुभम पांडे, महावीर सेना के श्री. अरविंद गुप्‍ता, हनुमान चालीसा मंडल के श्री. सुमित सर्राफ, हिन्‍दू जनजागृति समिति के श्री. राजन केशरी तथा अन्‍य धर्माभिमानी उपस्‍थित थे ।

‘भारतीय दण्‍ड संहिता’की धारा ‘153-B’ के अनुसार नागरिक को उसके मूलभूत अधिकारों से वंचित रखने का आवाहन करना, अपराध है । ‘हलाल अर्थव्‍यवस्‍था’ मुसलमानों को केवल मुसलमानों के साथ ही व्‍यवहार करने हेतु प्रोत्‍साहित करती है । ‘153-B’ के अनुसार यह धार्मिक अधिकार नहीं हो सकता । इसलिए सरकार को इसमें हस्‍तक्षेप कर कार्यवाही करना आवश्‍यक है । यह प्रमाणपत्र देनेवाले ‘जमीयत उलेमा-ए-हिंद’ इस संस्‍था की ओर से अनेक आतंकी घटनाओं में संलिप्‍त मुसलमान आरोपियों को कानूनी सहायता उपलब्‍ध कराई जा रही है । ‘हलाल प्रमाणपत्र’ देनेवाली सभी संस्‍थाओं की ‘सीबीआई एवं ईडी’ द्वारा जांच कर ‘हलाल’ धन का उपयोग राष्‍ट्रीय सुरक्षापर कोई संकट तो नहीं है न ?’ इसकी व्‍यापक जांच होनी चाहिए ।
जी-5 (ZEE5) ओटीटी प्‍लैटफॉर्म से ‘ताज : डिवाइडेड बाई ब्‍लड’ वेबसीरीज प्रसारित की जा रही है । जिन मुगलों नेे भारतीय संस्‍कृति नष्‍ट करने का प्रयास किया; हिन्‍दू मंदिरों को ध्‍वस्‍त किया, हिन्‍दुओं का भारी संख्‍या में धर्मांतरण किया अथवा उसका धर्मांतर न करने पर उन्‍हें मार डाला; हिन्‍दू महिलाओं पर अनगिनत अत्‍याचार किए; जिसने भारतभूमि से हिन्‍दू धर्म को नष्‍ट करने का प्रयास किया, ऐसे अकबर को ‘सहिष्‍णु’, ‘सर्वधर्मसमभावी’, ‘आध्‍यात्मिक’ आदि उपाधियां लगाकर उसका झूठा इतिहास प्रचारित किया जा रहा है ।

इस समय निम्‍न मांगें की गईं :
1. भारत में धार्मिक भेदभाव करनेवाला ‘हलाल प्रमाणपत्र’ देनेपर प्रतिबंध लगाया जाए ।
2. अभिव्‍यक्‍ति स्‍वतंत्रता की आड में विदेशी आक्रांताआें का महिमामंडन करनेवालों पर कार्यवाही करने के लिए नए सिरे से कानून बनाया जाए ।
3. समाज में धार्मिक सौहार्द बिगाडने का कारण बननेवाली ऐसी वेबसीरीज के निर्माता तथा मुगलों का समर्थन करनेवाले कलाकारों पर कार्यवाही की जाए ।

 

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